बेंगलुरु। बुधवार को यहां शुरू हुए ‘मानव अंतरिक्ष यात्रा एवं अन्वेषण : मौजूदा चुनौतियां और भविष्य’ सेमीनार के उद्घाटन सत्र में जब महिला रोबोट ने अपना परिचय दिया तो सभी आश्चर्यचकित रह गए।
रोबोट ने कहा- सभी को नमस्कार। मैं व्योममित्र हूं और मुझे अर्ध मानव रोबोट के नमूने के रूप में पहले मानवरहित गगनयान मिशन के लिए बनाया गया है।
मिशन में अपनी भूमिका के बारे में व्योममित्र ने बताया कि मैं पूरे यान के मापदंडों पर निगरानी रखूंगी, आपको सचेत करूंगी और जीवनरक्षक प्रणाली का काम देखूंगी। मैं स्विच पैनल के संचालन सहित विभिन्न काम कर सकती हूं।
महिला रोबोट ने बताया कि वह अंतरिक्ष यात्रियों की अंतरिक्ष में साथी होगी और उनसे बात करेगी। वह अंतरिक्ष यात्रियों की पहचान करने सहित उनके सवालों का जवाब देगी।
इस रोबोट का नाम संस्कृत के दो शब्दों व्योम (अंतरिक्ष) और मित्र (दोस्त) को मिलाकर ‘व्योममित्र’ दिया गया है। कार्यक्रम में मौजूद लोग उस समय आश्यर्चकित रह गए जब व्योममित्र ने अपना परिचय दिया।