नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा के नारे 'लड़की हूं, लड़ सकती हूं' का मजाक उड़ाते हुए कहा कि 'घर पर लड़का है, पर लड़ नहीं सकता।'
प्रियंका ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में 40 प्रतिशत सीटों पर महिला उम्मीदवारों को खड़ा करने की पिछले महीने घोषणा करते हुए 'लड़की हूं, लड़ सकती हूं' का नारा दिया था। इस नारे का जिक्र करते हुए ईरानी ने कहा कि इसका अर्थ हुआ कि 'घर पर लड़का है, पर लड़ नहीं सकता।'
उन्होंने महिला उम्मीदवारों को 40 फीसदी टिकट देने के प्रियंका गांधी के प्रस्ताव पर पलटवार करते हुए कहा कि इसका अर्थ यह है कि वह कह रही हैं कि वह महिलाओं को 60 प्रतिशत टिकट नहीं देना चाहतीं।
स्मृति ने कहा कि मैं यह नहीं कह रही कि राजनीति और लोकतंत्र में लोगों को कोशिश नहीं करनी चाहिए। जीत और हार राजनीति का हिस्सा है। मैं भी 2014 में हार गई थी लेकिन सवाल यह है कि लोगों का आपके प्रयासों पर कितना विश्वास है।
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने गत 31 अक्टूबर को हरदोई में एक कार्यक्रम में कहा था कि महात्मा गांधी, सरदार वल्लभभाई पटेल, जवाहरलाल नेहरू और मोहम्मद अली जिन्ना बैरिस्टर बने तथा देश की आजादी के लिए संघर्ष किया और कभी इससे पीछे नहीं हटे। अखिलेश यादव के इस बयान पर ईरानी ने कटाक्ष करते हुए कहा कि यह तुलना फिर से दिखाती है कि 'लड़के हैं, लड़ नहीं सकते।'
ईरानी ने कहा कि सरदार पटेल अतुलनीय हैं। 500 रियासतों में एकता की भावना जगाने का श्रेय सरदार पटेल को जाता है। आप कल्पना कर सकते हैं कि उनका व्यक्तित्व कितना 'विराट' रहा होगा। क्या आप उस व्यक्ति की तुलना उस सज्जन (जिन्ना) से कर सकते हैं, जिन्होंने कहा था कि चलिए, धर्म के आधार पर हम देश को विभाजित करते हैं। एक ने देश को एकजुट करने की दिशा में काम किया जबकि दूसरे ने इसे तोड़ने की दिशा में काम किया।