दुबई: टी-20 विश्व कप 2021 के विजेता ऑस्ट्रेलिया के कप्तान एरोन फिंच ने कहा है कि पूरे टूर्नामेंट के दौरान उनकी टीम की सफलता का एक प्रमुख कारण टॉस तो था ही, लेकिन उनकी टीम ने भी बेहतरीन और आक्रामक क्रिकेट खेला। दरअसल ऑस्ट्रेलिया ने इस टूर्नामेंट के दौरान जितने भी मैच जीते, पहले गेंदबाजी करते हुए जीते। फिंच ने इस विश्व कप के सात में से छह मैचों में टॉस जीता था।
फिंच ने मैच के बाद कहा, “ ईमानदारी से कहूं तो टॉस की भूमिका बहुत अहम थी, हालांकि हम इसके लिए हमेशा से तैयार थे कि किसी ना किसी मैच में हम टॉस हार सकते हैं और हमें पहले बल्लेबाजी के लिए उतरना पड़ सकता है। हर मैचों की तरह इस मैच में भी थोड़ा ही सही, लेकिन ओस की भूमिका थी और धीमी गति से गेंदबाजी करने वाले गेंदबाजों को परेशानी हो रही थी। ”
उन्होंने कहा, “ जिस तरह से हमने पूरे टूर्नामेंट के दौरान नई गेंद से गेंदबाजी की, वह बहुत ही महत्वपूर्ण थी। हमने फाइनल में भी न्यूजीलैंड को पहले 10 ओवर में सिर्फ 57 रन ही बनाने दिए। इस मैच में ओस भी इस पूरे टूर्नामेंट की तुलना में अधिक गिरी और हमें इसका भी फायदा हुआ। टी-20 क्रिकेट में आपको भाग्य की भी जरूरत होती है। हमने सात में से छह मैचों में टॉस जीता, जिसका हमारे अभियान पर बड़ा प्रभाव पड़ा, लेकिन यह भी तथ्य है कि हमने बेहतरीन और आक्रामक क्रिकेट खेला, जिससे विपक्षी टीमें बैकफुट पर आ गईं। ”
ऑस्ट्रेलियाई कप्तान ने मैच में 38 गेंदों पर 53 रन बनाने वाले डेविड वॉर्नर की भी खूब तारीफ की है। फिंच ने कहा, “ वॉर्नर की आक्रामक बल्लेबाजी पूरी ऑस्ट्रेलियाई टीम के आक्रामक दृष्टिकोण को दर्शाती है। टूर्नामेंट से पहले उनके फॉर्म पर सवाल उठ रहे थे, लेकिन मैं उनके लिए निश्चिंत था। मैंने कोच जस्टिन लैंगर से भी कहा था कि वह टूर्नामेंट के सबसे बेहतरीन खिलाड़ियों में से एक होंगे। वह एक जुझारू और टी-20 क्रिकेट के सर्वकालिक सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में से एक हैं। ”
उल्लेखनीय है कि यह वॉर्नर का लगातार तीसरा 40 से अधिक का स्कोर था। उन्होंने टूर्नामेंट में वेस्ट इंडीज के खिलाफ आखिरी लीग मुकाबले में 57 गेंदों पर 89 और पाकिस्तान के खिलाफ महत्वपूर्ण सेमीफाइनल मैच में 30 गेंदों पर 49 रन बनाए थे, हालांकि उन्होंने यह कहा कि प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का अवार्ड सबसे अधिक विकेट लेने वाले ऐडम जैम्पा को मिलना चाहिए था।
ऑस्ट्रेलिया ने हमें दबाव में रखा : विलियमसन
न्यूजीलैंड के कप्तान केन विलियमसन ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टी-20 विश्व कप फाइनल में मिली हार का ठीकरा अपने गेंदबाजों के ऊपर नहीं फोड़ा है। उन्होंने कहा कि इस पूरे टूर्नामेंट के दौरान उनके गेंदबाजों ने बेहतरीन गेंदबाजी की है।
विलियम्सन ने मैच के बाद कहा, “ ऑस्ट्रेलिया ने आज हमसे बहुत बेहतर क्रिकेट खेला और हमें दबाव में रखा। हम नियमित अंतराल पर विकेट हासिल नहीं कर पाए, जिससे उन पर दबाव नहीं बन सका। उन्होंने मोमेंटम हासिल किया और फिर उसे कभी नहीं खोया। ”
उल्लेखनीय है कि न्यूजीलैंड की गेंदबाजी इकाई फाइनल मैच में 173 रन के लक्ष्य काे डिफेंड नहीं कर पाई थी। ट्रेंट बोल्ट को छोड़कर सभी गेंदबाज अपने लाइन और लेंथ से भटके हुए दिखे। परिणामस्वरूप उनकी जमकर धुनाई हुई। ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों ने खासतौर पर ईश सोढ़ी और टिम साउदी को आड़े हाथों लिया। इसमें भी कोई दोराय नहीं है कि दुबई की इस पिच पर पहली पारी में दोहरा उछाल देखने को मिला।
पावरप्ले के दौरान न्यूजीलैंड सिर्फ 32 रन ही बना सका, जो इस टूर्नामेंट के दौरान उसका न्यूनतम पावरप्ले स्कोर है, हालांकि कप्तान विलियम्सन ने खुद जिम्मेदारी लेते हुए 48 गेंदों पर शानदार 85 रन बनाए और टीम के स्कोर को 172 तक पहुंचाया।
न्यूजीलैंड के कप्तान ने कहा, “ दूसरी पारी की परिस्थितियों को देखते हुए इसे विशाल स्कोर तो नहीं कहा जा सकता, लेकिन फिर भी यह अच्छा स्कोर था। शुरुआती विकेटों का दबाव बनाकर संभवतः हम इस स्कोर को डिफेंड कर सकते थे, लेकिन शायद यह हमारा दिन नहीं था। ऑस्ट्रेलिया की टीम बेहद मजबूत है। उन्होंने पूरे विश्व कप के दौरान बेहतरीन क्रिकेट खेला, जिसे उन्होंने फाइनल में भी बरकरार रखा, हालांकि इस पूरे टूर्नामेंट के दौरान हमने जो क्रिकेट खेला, उस पर हमें गर्व है। फाइनल में भी हमने अच्छा क्रिकेट खेला, बेशक यह इतना अच्छा नहीं था कि हम खिताब जीत सके। ”(वार्ता)