ठाणे। ठाणे की एक अदालत ने एक फर्जी बाबा को एक महिला को गर्भधारण में मदद पहुंचाने के बहाने उसे और उसके पति को अपने सामने अश्लील हरकत के लिए मजबूर करने के जुर्म में दस साल की कठोर कैद की सजा सुनाई है।
जिला न्यायाधीश पीपी जाधव ने मंगलवार को आरोपी योगेश कुपेकर को महाराष्ट्र मानव बलि एवं अन्य अमानवीय, शैतानी, अघोरी प्रथाएं एवं काला जादू रोकथाम एवं उन्मूलन अधिनियम, 2013 तथा भादसं की धाराएं 376 (यौन हमला) और 354 (छेड़खानी) के तहत दोषी ठहराया। अदालत ने उस पर 30 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया।
अभियोजन के अनुसार कुपेकर ने महिला को गर्भधारण में मदद पहुंचाने के लिए उपचार के बहाने 2016 में उसे और उसके पति को अपने सामने मैथुन करने के लिए मजबूर किया।
बाद में इस दंपति ने ठाणे पुलिस में शिकायत की और उस पर महिला से बलात्कार करने, उससे छेड़खानी करने और उनसे 10,000 रुपए ऐंठने का आरोप लगाया।
महिला ने पुलिस से कहा कि उसे इन हरकतों से इतनी मानसिक यातना पहुंची कि उसने खुदकुशी करने का भी सोचा और उसे ठाणे के एक अस्पताल में इलाज कराना पड़ा। बाद में आरोपी को गिरफ्तार किया गया।
न्यायाधीश ने अपने आदेश में कहा कि आरोपी ने पीड़िता और उसके पति के साथ घिनौनी हरकत की। निश्चित रूप से यह बलात्कार के नियमित मामलों से अलग एक खास और विचित्र मामला है। उसे कैद और जुर्माने की उचित सजा देने की जरूरत है। (भाषा)