नई दिल्ली। आईसीएसई बोर्ड ने अपना तरीका बदलते हुए इस साल केंद्रीकृत मूल्यांकन केंद्रों के बजाय स्कूलों में प्रायोगिक परीक्षाएं आयोजित कीं। बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि केंद्रीकृत मूल्यांकन केंद्रों पर परीक्षा आयोजित करने की पहले की परंपरा से हटकर इस साल संबंधित विषयों की प्रायोगिक परीक्षाएं स्कूलों में हुईं।
काउंसिल फॉर इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एक्जामिनेशंस (सीआईएससीई) ने 10वीं और 12वीं कक्षा में पास होने के लिए जरूरी अंक क्रमश: 35 प्रतिशत से घटाकर 33 प्रतिशत और 40 प्रतिशत से घटाकर 35 प्रतिशत कर दिया। इस साल आईसीएसई की 10वीं की परीक्षा में कुल 1,84,253 छात्र परीक्षा दे रहे हैं, जबकि आईएससी की 12वीं की परीक्षा के लिए 81,758 छात्रों ने पंजीकरण कराया है। (भाषा)