Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia
Advertiesment

बुराड़ी कांड : मौत के रजिस्टर में लिखा है भटकती आत्माओं का रहस्य...

हमें फॉलो करें बुराड़ी कांड : मौत के रजिस्टर में लिखा है भटकती आत्माओं का रहस्य...
, शुक्रवार, 6 जुलाई 2018 (12:20 IST)
बुराड़ी के दिल दहलाने वाले सामुहिक आत्महत्या के मामले में लगातार सनसनीखेज खुलासे हो रहे हैं। ऐसे ही एक खुलासे से पता चला है कि ललित अपने पिता के साथ अन्य आत्माओं को भी मोक्ष दिलाना चाहते थे। 
 
ALSO READ: बुराड़ी कांड: शवों का होगा मनोवैज्ञानिक पोस्टमॉर्टम, क्या था 'बड़ तपस्या' का राज...
रजिस्टर में एक नोट में उन्होंने इसका जिक्र किया है। पता चला है कि ललित अपने मृत पिता की ओर से सपने में दिए गए निर्देशों को रजिस्टर में उतार लेते थे और उनका पालन करते थे।
 
ललित ने रजिस्टर में अपने पिता के हवाले से 9 जुलाई 2015 को लिखा था कि आप क्रिया की गति में सुधार बढ़ाओ, आप भटक रहे हो। सभी एक छत के नीचे मेलमिलाप कर इसे सुधारो। अभी कुछ आत्माएं मेरे साथ भटक रही हैं। क्रिया में सुधार करोगे तो गति बढ़ेगी। 
 
मैं इस चीज के लिए भटक रहा हूं, ऐसे ही सज्जन सिंह, हीरा, दयानंद, कर्मचंद, राहुल, गंगा और जमुना देवी मेरे सहयोगी बने हुए हैं। ये भी यही चाहते हैं कि तुम सब सही कर्म कर जीवन सफल बनाओ। जब हमारे काम पूरे हो जाएंगे तो हम लौट जाएंगे। 
 
ALSO READ: उज्जैन की भर्तृहरि गुफा में छुपा है बुराड़ी की 11 मौतों का रहस्य, सामने आया सच...
रजिस्टर में लिखा है कि कप के पानी का रंग जैसे-जैसे बदलेगा, वैसे-वैसे उन सदस्यों को मोक्ष की प्राप्ति होगी। एक कप पानी भी घटनास्थल से पुलिस ने बरामद किया है। 
 
दिल्ली क्राइम ब्रांच को ललित के घर से 5 जून 2013 से 30 जून 2018 तक लिखे गए 11 रजिस्टर मिले हैं। बताया जा रहा है कि इनमें चार अलग-अलग लिखावटे हैं। ज्यादातर बातें ललित की भांजी प्रियंका ने लिखी हैं। पुलिस एक्सपर्ट से अन्य लिखावटों का भी मिलान करवा रही है। 
 
क्राइम ब्रांच के ज्वाइंट कमिश्नर आलोक  कुमार ने बताया कि रजिस्टर में लिखी बातों के बारे में मनोचिकित्सकों से जांच करवाई जाएगी कि आखिर परिवार के सदस्यों की मनोस्थिति किस स्तर तक पहुंच चुकी थी।

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

अमरनाथ यात्रियों में खुशी की लहर, पहलगाम मार्ग पर यात्रा फिर शुरू