नागपंचमी पर राशि अनुसार करें नागपूजन, जानें 12 राशि‍यों के 12 नागदेवता

Webdunia
नागपंचमी पर नागपूजन का विशेष महत्व है, लेकिन अगर इस दिन अपनी राशि के अनुसार नागपूजन किया जाए तो उतने ही विशेष फलों की प्राप्ति होती है। इस बार आप भी नागपंचमी पर करें अपनी राशि के नागदेवता का पूजन और पाएं समस्त समस्याओं से मुक्ति। जानिए अपनी राशि के अनुसार आपको किस नागदेवता का पूजन करना चाहिए -  
 
 
मेष : मेष राशि वाले सभी जातकों को अपनी समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए नागपंचमी पर विशेष रूप से अनन्त नाग, नागदेवता का पूजन करना चाहिए। इसी प्रकार -   
वृषभ : कुलिक नाग,
मिथुन : वासुकि नाग, 
कर्क : शंखपाल नाग, 
सिंह : पद्म नाग, 
कन्या : महापद्म नाग 
तुला : तक्षक नाग, 
वृश्चिक : कर्कोटक नाग, 
धनु : शंखचूर्ण नाग, 
मकर : घातक नाग, 
कुंभ : विषधर नाग 
और मीन राशि वालों को शेषनाग की प्रतिमा की पूजा नाग पंचमी को करनी चाहिए। इससे विशेष फल की प्राप्ति होती है।
 
शुभ भी होता है कालसर्प योग

गरुड़ पुराण के अनुसार नाग पंचमी के दिन नाग देवता की पूजा करने से सुख-शांति की प्राप्ति होती है। राहु को सर्प का मुख और केतु को उसकी पूंछ माना जाता है। जब भी समस्त ग्रह इन दोनों ग्रहों के मध्य में आते हैं तो वह कालसर्प योग कहलाता है। कालसर्प योग शुभ व अशुभ दोनों प्रकार के होते हैं। इसकी शुभता और अशुभता अन्य ग्रहों के योगों पर निर्भर करती है।
 
वेबदुनिया ज्योतिष टीम के अनुसार जब भी कालसर्प योग में पंच महापुरुष योग, रुचक, भद्र, मालव्य व शश योग, गज केसरी, राज सम्मान योग महाधनपति योग बनें तो व्यक्ति उन्नति करता है। जब कालसर्प योग के साथ अशुभ योग बने जैसे-ग्रहण, चाण्डाल, अशांरक, जड़त्व, नंदा, अंभोत्कम, कपर, क्रोध, पिशाच हो तो वह अनिष्टकारी होता है।
 
वेबदुनिया ज्योतिष टीम के अनुसार ज्योतिष में 576 प्रकार के कालसर्प योग बताए गए हैं जिनमें लग्न से द्वादश स्थान तक मुख्यत: 12 प्रकार के सर्प योगों में अनंत, कुलिक, वासुकी, शंखपाल, पदम, महापदम, तक्षक, कर्कोटक, शंखनाद, पातक, विशांत तथा शेषनाग शामिल है। कालसर्प योग दोष निवारण के लिए नागपंचमी के दिन सर्प की पूजा करना सर्वाधिक अच्छा रहता है।

सम्बंधित जानकारी

Show comments
सभी देखें

ज़रूर पढ़ें

Bhai dooj katha: भाई दूज की पौराणिक कथा

Govardhan Puja 2024: गोवर्धन पूजा का शुभ मुहूर्त और पूजन सामग्री सहित सरल विधि

Diwali Laxmi Pujan Timing: दिवाली पर लक्ष्मी पूजा के शुभ मुहूर्त और चौघड़िया

Narak chaturdashi 2024: नरक चतुर्दशी पर हनुमानजी की पूजा क्यों करते हैं, क्या है इसका खास महत्व?

दिवाली के पांच दिनी उत्सव में किस दिन क्या करते हैं, जानिए इंफोग्राफिक्स में

सभी देखें

धर्म संसार

Aaj Ka Rashifal: भाई दूज के दिन किन राशियों पर होगी ईश्वर की विशेष कृपा, पढ़ें 03 नवंबर का राशिफल

03 नवंबर 2024 : आपका जन्मदिन

03 नवंबर 2024, रविवार के शुभ मुहूर्त

Chhath Puja 2024: छठ पर सूर्य देव और छठी मैया की पूजा की सामग्री एवं पूजन विधि

Chhath Puja katha: छठ पूजा की 4 पौराणिक कथाएं

अगला लेख
More