कोलंबो:श्रीलंका के पूर्व दिग्गज तेज गेंदबाज चमिंडा वास ने सोमवार को देश के क्रिकेट बोर्ड के साथ वेतन विवाद के कारण राष्ट्रीय टीम के तेज गेंदबाजी कोच के पद से इस्तीफा दे दिया। उन्हें तीन दिन पहले ही इस पद पर नियुक्त किया गया था।वास ने वेस्टइंडीज के दौरे पर टीम के रवाना होने से ठीक पहले इस्तीफा दिया।
श्रीलंका क्रिकेट (एसएलसी) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, हम उसकी शर्तों पर सहमति नहीं जता सकते थे कि इसलिए उसने इस्तीफा दे दिया।
एसएलसी ने बयान में कहा, यह निराशाजनक है कि दुनिया भर में जिस तरह का आर्थिक माहौल है उसे देखते हुए वास ने निजी वित्तीय फायदे के लिए टीम की रवानगी की पूर्व संध्या पर अचानक और इस तरह का गैरजिम्मेदाराना कदम उठाया।
हाल में दक्षिण अफ्रीका और इंग्लैंड के खिलाफ टीम के खराब प्रदर्शन के बाद वास को पिछले हफ्ते ही आस्ट्रेलिया के डेविड सेकेर की जगह श्रीलंका का तेज गेंदबाजी कोच नियुक्त किया गया था।
वास को तीन टी20 और तीन एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैचों की श्रृंखला के अलावा दो टेस्ट की श्रृंखला के लिए सोमवार को टीम के साथ वेस्टइंडीज रवाना होना था।बोर्ड के अधिकारी ने बताया कि देश के शीर्ष तेज गेंदबाजों में शामिल रहे वास ने एसएलसी अकादमी के कोच पद से भी इस्तीफ दे दिया है।
श्रीलंका की गेंदबाजी के खस्ता हाल का अंदाजा इस ही बात से लगाया जा सकता है कि लंका का एक भी गेंदबाज आईसीसी टेस्ट या वनडे रैंकिंग के टॉप 10 में नहीं दिखता है। वास के सामने फिर लंकाई गेंदबाजी का स्तर को सुधारने की चुनौती थी लेकिन उन्होंने नौकरी शुरु करने से पहले ही इस्तीफा दे दिया।
4 साल पहले भी बने थे तेज गेंदबाजी कोच
साल 2017 में चम्पका रामनायके ने व्यक्तिगत कारणों से जिम्बाब्वे के खिलाफ सीरीज के बाद गेंदबाजी कोच पद से 2 साल के कार्यकाल के बाद इस्तीफा दे दिया था। चामिंडा वास इसके बाद टीम के नए गेंदबाजी कोच बन गए थे। उनका यह कार्यकाल 2 साल तक चला। लेकिन इस बार तो उन्होंने 3 दिन के अंदर ही इस्तीफा दे दिया।
क्या श्रीलंका बोर्ड से निकाला पुराना बदला?
चामिंडा वास ने साल 2009 में टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कहा था और वनडे क्रिकेट खेलना जारी रखा। इसके बाद टीम मैनेजमेंट ने उनकी वनडे में भी अनदेखी की और उन्हें साल 2011 के विश्वकप में स्थान नहीं दिया। वास ने बार-बार कहा था कि उनका लक्ष्य विश्व कप में खेलना है। उन्हें 30 संभावितों में जगह मिली थी लेकिन अंतिम टीम में उनका चयन नहीं किया गया।
विश्वकप में श्रीलंका फाइनल तक पहुंची लेकिन कप नहीं जीत पायी। साल 2011 में ही चामिंडा वास ने वनडे क्रिकेट को भी अलविदा कह दिया।
(भाषा)