Ramcharitmanas

Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

कोरोना काल के चुटकुले : मधुशाला नए रूप में लोटपोट कर देगी

Advertiesment
हमें फॉलो करें जोक्स
कोई मांग रहा था देशी,
और कोई फॉरेन  वाला।
वीर अनेकों टूट पड़े थे,
खुल चुकी थी मधुशाला।
 
शासन का आदेश हुआ था,
गदगद था ठेके वाला।
पहला ग्राहक देव रूप था,
अर्पित किया उसे माला।
 
भक्तों की लंबी थी कतारें,
भेद मिटा गोरा काला।
हिन्दू मुस्लिम साथ खड़े थे,
मेल कराती मधुशाला।
 
चालीस दिन की प्यास तेज थी,
देशी पर भी था ताला।
पहली बूंद के पाने भर से,
छलक उठा मय का प्याला।
 
गटक गया वो सारी बोतल,
तृप्त हुई उर की ज्वाला।
राग द्वेष सब भूल चुका था,
बाहर था वो अंदर वाला।
 
हंस के उसने गर्व से बोला,
देख ले ऐ ऊपर वाला।
मंदिर मस्जिद बंद हैं तेरे,
खुली हुई है मधुशाला।
 
पैर बिचारे झूम रहे थे,
आगे था सीवर नाला।
जलधारा में लीन हो गया,
जैसे ही पग को डाला।
 
दौड़े भागे लोग उठाने,
नाक मुंह सब था काला।
अपने दीवाने की हालत,
देख रही थी मधुशाला।
 
मंदिर-मस्जिद बंद कराकर ,
लटका विद्यालय पर ताला !
सरकारों को खूब भा रही ,
धन बरसाती मधुशाला !! 
 
     डिस्टेंसिंग की ऐसी तैसी ,
     लाकडाउन को धो डाला !
     भक्तों के व्याकुल हृदयों पर
     रस बरसाती मधुशाला ।।
 
बन्द रहेंगे मंदिर मस्ज़िद ,
खुली रहेंगी मधुशाला।
ये कैसे महामारी है ,
सोच रहा ऊपरवाला ।।

जोक्स

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

खतरों के खिलाड़ी 11 : तीन वाइल्ड कार्ड एंट्री होगी अगले सप्ताह, जानिए कौन हैं ये खिलाड़ी?