'गीतांजलि का रोल करने में मुझे बहुत किक मिली है। ये वह औरत है जिसका इमरजेंसी के दौरान घर और खज़ाना लूट कर जेल भेज दिया गया था। लेकिन वह रोने के बजाय इन सब के खिलाफ अपनी तरह से लड़ती है..' इलियाना अपने महारानी गीतांजलि के किरदार के बारे में बताती हैं जो उन्होंने फिल्म 'बादशाहो' में निभाया है।
बादशाहो में महारानी का किरदार निभाने वाली इलियाना का मानना है कि इस रोल में उन्हें कुछ नया करने का मौक़ा मिला है। वे कहती हैं, “इसमें मुझे एक लड़की की तरह नहीं बल्कि एक महिला के तौर पर काम करना था। वह औरत जो आत्मविश्वास से भरी हुई है और हर हाल में अपना सब खोने से बचाना चाहती है। वह कुछ लोगों को काम पर लगाने से भी नहीं चूकती है। वह एक ऐसी महिला है जो चालाक भी है और उससे अधिक सेंशुअल भी है।”
जब वेबदुनिया संवाददाता रूना आशीष ने उनसे रोल के होमवर्क की बात की तो इलियाना का कहना था, “मैंने रोल की तैयारी के लिए कोई होमवर्क नहीं किया। मैंने मिलन लथुरिया (बादशाहो के निर्देशक) से पूछा था लेकिन उन्होंने कहा कि अगर चाहो तो कर लो। मैं अपनी सोच के हिसाब से रोल करना चाहती थी। हां, मैंने 70 के दशक के फैशन के बारे में ज़रूर जानकारी हासिल की। किस तरह के कपड़े पहनते थे? कैसी हेयर स्टाइल होती थी? बाकी कोई बात जाननी होती थी तो मिलन सेट पर थे। वे चलता-फिरता इनसाइक्लोपीडिया हैं इस विषय के।
तो क्या असल ज़िंदगी में भी आप महारानी गीतांजली जैसी हैं? पूछने पर इलियाना जवाब देती हैं, 'हां, मैं ज़रा सी बुरी तो हूं। मुझे तो कई बार स्कूल में प्रिसिंपल के ऑफिस भेजा गया है। मैं तो स्कूल में प्लास्टिक की छिपकली ले कर जाती थी और लड़कियों पर फेंक देती थी। कभी होमवर्क नहीं करती थी। कभी होमवर्क देने वाले दिन पर उनका ध्यान भटका देती थी कि वे पूछ न ले होमवर्क के बारे में। मैं एक नंबर की कामचोर थी।
अपनी परवरिश के बारे में बात करते हुए इलियाना कहती हैं, 'मेरे पैरेंट्स बहुत ही स्ट्रिक्ट किस्म के रहे हैं। हम स्कूल में भी बातें करते थे कि कौन ज़्यादा कड़क मिज़ाज है, पापा या मम्मा? तो मैं तो दोनों का नाम कह देती थी, लेकिन इसी वजह से मैं बहुत अनुशासित रही हूं। मुझे इस अनुशासन ने मज़बूत बनाया है। मुझे समझ में आ गया था कि ज़िंदगी कैसे जीनी है। मुझे तो कई बार चांटे पड़े हैं, लेकिन इसी ने मुझे सिखाया कि कैसे अपने आप को थामे रहना है। मैं अपने आपको हैंडल करना सीख गई हूं अपने पैरेंट्स की वजह से। मेरे पैरेंट्स ने मुझे घर साफ करना और बर्तन धोना भी सिखाया। इसी वजह से अब मुझे अपने काम करने में कोई शर्म नहीं आती है।
इलियाना ने हिंदी फिल्मों में अपनी शुरुआत 'बर्फी' नामक बेहतरीन फिल्म से की थी। इसे फिल्म को रिलीज हुए पांच वर्ष हो गए हैं। इसके बारे में सोचना कैसा लगता है? इलियाना कहती हैं, 'मैं उन लोगों में से नहीं हूं जो अपने पास्ट के बारे में सोचे और खुश रहे। मैं वो हूं जो ये सोचे कि अच्छा है कि मेरी फिल्म ने अच्छा किया, लेकिन अब आगे क्या। आगे मेरे पास एक फिल्म है जो साइन की है लेकिन सही समय आ जाए और प्रोड्यूसर कहे तब मैं सभी को बता दूंगी।