यहां कार्तिकेय जी के दिव्य नाम दिए जा रहे हैं। जो इनका पाठ करता है, वह धन, कीर्ति तथा स्वर्गलोक प्राप्त कर लेता है; इसमें संशय नहीं है। कार्तिकेय के प्रसिद्ध नामों की सूची इस प्रकार है।
कार्तिकेय,
महासेन,
शरजन्मा,
षडानन,
पार्वतीनन्दन,
स्कन्दम्,
सेनानी,
अग्निभू,
गुह,
बाहुलेय,
तारकजित्,
शिखिवाहन,
शक्तिश्वर,
कुमार,
क्रौंचदारण,
आग्नेय,
स्कन्द,
दीप्तकीर्ति,
अनामय,
मयूरकेतु,
धर्मात्मा,
भूतेश,
महिषमर्दन,
कामजित्,
कामद,
कान्त,
सत्यवाक,
भुनेश्वर,
शिशु,
शीघ्र,
शुचि,
चण्ड,
दीप्तवर्ण,
शुभानन,
अमोघ
अनघ,
रौद्र,
प्रिय,
चन्द्रानन,
दीप्तशक्ति,
प्रशान्तात्मा,
भद्रकृत्,
कूटमोहन,
षष्ठीप्रिय,
धर्मात्मा,
पवित्र,
मातृवत्सल,
कन्याभर्ता,
विभक्त,
स्वाहेय,
रेवतीसुत,
प्रभु,
नेता,
विशाख,
नैगमेय,
सुदुश्रर,
सुव्रत,
बालक्रीडनकप्रिय,
आकाश्चारी,
ब्रह्मचारी,
शूर,
शखणोद्भव,
विश्वामित्रप्रिय,
देवसेनाप्रिय,
वासुदेवप्रिय,
स्कंद,
प्रिय
प्रियकृत्
मुरुगन
सुंदर
ये कार्तिकेय जी के 70 दिव्य नाम हैं।