लखनऊ। उत्तरप्रदेश के लखनऊ में राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय प्रवक्ता अनिल दुबे ने प्रदेश सरकार द्वारा पेट्रोल पर 2 रुपए प्रति लीटर एवं डीजल पर 1 एक रुपए वैट लगाने के निर्णय को जनविरोधी बताते हुए कहा है कि संकट के दौर में जनता को राहत दी जाती है, न कि टैक्स लगाकर कष्ट।
उन्होंने ने बताया कि प्रदेश में बेमौसम बारिश ओलावृष्टि के कारण खड़ी फसल बर्बाद हो चुकी है। प्रदेश में गन्ना किसानों का लगभग 16000 करोड़ रुपए भुगतान बकाया है।
लॉकडाउन के चलते सब्जी- फल किसानों को 80 प्रतिशत, फूल किसानों को 100 प्रतिशत व डेरी किसानों को 50 प्रतिशत नुकसान हुआ है। देश का किसान भीषण संकट में है। गत 3 वर्षों से गन्ना मूल्य में सरकार द्वारा कोई वृद्धि नही की गई है।
लॉकडाउन में तकलीफ झेल रही जनता और किसान से कितने पैसे वसूले जा सकते हैं, सरकार यह सोच रही है। यह बड़ा ही दुखद है। किसान के कृषि के सभी उपकरण डीजल से चलते हैं। लॉकडाउन में किसान अन्नदाता के रूप में देश के साथ मजबूती से खड़ा रहा।
आज जब किसान भुगतान न होने से, आम आदमी रोज़गार के अभाव में विचलित है। सरकार टैक्स पर टैक्स लगाए जा रही है। सरकारें जनकल्याण के लिए होती हैं, इसलिए जनता के कल्याण की योजना बनाएं। उन्होंने प्रदेश सरकार से जनहित में पेट्रोल-डीजल पर की गई वृद्धि को तत्काल वापस लेने की मांग की है।