उत्तर प्रदेश 2022 के चुनाव के प्रत्याशी डिक्लेयर होने के बाद सभी पार्टियों में विरोध कहीं न कहीं विरोध की तस्वीरें सामने आ रही हैं। आज मुजफ्फरनगर की एक कांग्रेस नेत्री ने रोते हुए कहा कि प्रियंका दीदी ने महिलाओं को मजबूत करने के लिए नारा दिया है कि 'बेटी हूं, लड़ सकती हूं', लेकिन पार्टी में ऐसा नहीं है। मेहराज ने कहा कि वह 13 वर्षों से पार्टी के लिए दिलोंजान से समर्पित है, हर वर्ग का प्यार उन्हें मिला है। लेकिन अब जब टिकट मिलने का समय आया तो उनकी उपेक्षा की गई।
मुज़फ्फरनगर की सदर विधानसभा सीट से कांग्रेस पार्टी की नेत्री मेहराज ने दावेदारी प्रस्तुत की थी। उन्हें पूरी उम्मीद थी की उनका टिकट होगा। आज उनके सामने जब लिस्ट आई तो उसमें मेहराज का नाम नदारद था और इस सीट से सुबोध शर्मा को उम्मीदवार बनाया गया। यह देखकर मेहराज फूट-फूटकर बच्चों की तरह रोने लगीं और उनका यह वीडियो सोशल मीडिया की सुर्खियां बन गया है।
मेहराज ने अपनी पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा कि पैसेवालों को टिकट दिया जा रहा है, जो कई वर्षों से पार्टी में रहकर काम कर रहा है उसे टिकट नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने रोते हुए कहा कि 13 साल से कांग्रेस का झंडा उठा रही हूं।
वह महिला कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष भी रह चुकी हैं। मेहराज ने प्रियंका गांधी वाड्रा से गुहार लगाते हुए कहा कि मैं बेटी हूं, लड़ सकती हूं, लेकिन कुछ लोगों को कांग्रेस पार्टी में बेटियों की कोई परवाह नहीं है। यदि मुझे न्याय नहीं मिला तो में आत्महत्या कर लूंगी।
मुजफ्फरनगर जिला कलेक्ट्रेट में नामांकन करने के लिए सभी दलों के प्रत्याशी पहुंच रहे थे, तभी टिकट न मिलने से नाराज मेहराज वहां पहुंच गईं और चीखने-चिल्लाने लगती हैं कि उनके साथ नाइंसाफी हुई है। रोते हुए उन्होंने कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी से न्याय की पुकार लगाते हुए कहा कि दीदी आप तो संघर्ष करने वाली महिलाओं को आगे लाना चाहती हैं, लेकिन महिलाओं को 40 फीसदी महिला टिकट देने का दावा झूठा है।
कांग्रेस ने सुबोध शर्मा को सदर विधानसभा से प्रत्याशी बनाया है, जबकि इस सीट से मैंने (मेहराज) टिकट की मांग की थी। मेहराज ने धमकी देते हुए कहा कि यदि उन्हें टिकट नहीं दिया जाएगा तो वे आत्मदाह करने पर विचार करेंगी।