मॉस्को। रूस पर कथित तौर पर हाईजंपर के खिलाड़ी डेनिल लिसेंको पर लगे डोपिंग के आरोप को छुपाने के कारण 2020 के टोकियो ओलंपिक खेलों में भाग लेने से प्रतिबंध लग सकता है।
अगस्त में ड्रग टेस्ट में फेल होने के बाद उन्हें निलंबित किया था लेकिन इस मामले पर आखिरी फैसला आना बाकी है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार रूस के अधिकारियों पर आरोप है कि वे प्रतिबंध से बचने के लिए लिसेंको की सहायता कर रहे हैं तथा उनके डोपिंग उल्लंघन को छिपाने के लिए इन लोगों ने नकली दस्तावेज भी बनाए हैं।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2015 में विश्व डोपिंगरोधी एजेंसी (वाडा) ने रूस पर डोपिंगरोधी नियमों के कई उल्लंघनों का आरोप लगाया था जिसके कारण रूसी एथलीटों के खिलाफ प्रतिबंधों को लागू किया गया था जिसमें उनके वर्ष 2016 के ग्रीष्मकालीन ओलंपिक के कुछ पदक छीनना और वर्ष 2018 के शीतकालीन ओलंपिक से पहले रूसी राष्ट्रीय टीम पर प्रतिबंध लगाना शामिल है।
हालांकि रूस के अधिकारियों ने इन आरोपों को खारिज किया लेकिन यह स्वीकार किया कि डोपिंग उल्लंघन के कुछ मामले सामने आए थे। पिछले वर्ष 20 सितंबर को वाडा कार्यकारी समिति ने बहुमत से रूसी डोपिंगरोधी एजेंसी (रूसाडा) को एक ऐसे संगठन के रूप में मान्यता देने का फैसला किया, जो विश्व डोपिंगरोधी संहिता का अनुपालन करता है।