पटना। बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रोजगार मेला पर शुक्रवार को चुटकी ली। शनिवार को शुरू हो रहे इस मेले में प्रधानमंत्री 75 हजार लोगों को नियुक्ति पत्र देंगे। यादव ने कहा कि यह राष्ट्रीय कार्यक्रम बिहार सरकार के कदम की नकल मात्र है।
प्रधानमंत्री को कहा जुमलेबाज : स्वास्थ्य विभाग में नियुक्त किए गए करीब 9 हजार 500 लोगों को नियुक्ति पत्र देने के लिए आयोजित कार्यक्रम में तेजस्वी यादव ने कहा कि कुछ जुमलेबाज हैं, जिन्होंने लोगों को हर साल दो करोड़ नौकरियां और हर खाते में 15 लाख रुपए डालने का फर्जी वादा करके लोगों को ठगा।
उन्होंने राज्य में 200 करोड़ रुपए की लागत वाली परियोजनाओं का शुभारंभ भी किया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और अन्य लोगों की मौजूदगी में स्वास्थ्य विभाग की भी जिम्मेदारी संभाल रहे यादव ने कहा कि हमने 10 लाख नौकरियों का वादा किया था और मुख्यमंत्री उस लक्ष्य की प्राप्ति में मार्गदर्शन कर रहे हैं। सिर्फ स्वास्थ्य विभाग में हम 1.5 लाख नौकरियां देने वाले हैं।
75 हजार नौकरियों से क्या फर्क पड़ेगा? : तेजस्वी ने यह भी दावा किया कि गृह विभाग सहित राज्य सरकार के अन्य विभागों में भी जल्द नियुक्तियां होंगी। किसी पार्टी, नेता या कार्यक्रम का नाम लिए बगैर तेजस्वी यादव ने कहा कि लेकिन हमें प्रचार नहीं मिलता है। सुर्खियां उनके लिए हैं, जो हमारी नकल कर रहे हैं। मैं सोच रहा हूं कि 100 करोड़ की आबादी वाले देश में महज 75,000 नौकरियों से क्या फर्क पड़ेगा?
प्रधानमंत्री कार्यालय ने बृहस्पतिवार को कहा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 अक्टूबर को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से रोजगार मेला की शुरुआत करेंगे और 75,000 लोगों को नियुक्तिपत्र देंगे। इस मेले का लक्ष्य 10 लाख लोगों को रोजगार देना है।
क्या यह जंगल राज है? : राज्य में कानून-व्यवस्था बिगड़ने के भाजपा के आरोपों के परोक्ष संदर्भ में राजद नेता ने कहा कि हमारे बारे में इतना कुछ कहा जा रहा है। हम बेरोजगारों को नौकरियां दे रहे हैं। क्या यह जंगल राज है? जो हो रहा है, होने दें, हम निराश नहीं होंगे और अपने वादे पूरे करने के लिए काम करते रहेंगे।
Edited by: Vrijendra Singh Jhala (भाषा)