Muzaffarnagar student thrashing case: उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले के मंसूरपुर थाना क्षेत्र के एक निजी स्कूल में छात्रों से अल्पसंख्यक सहपाठी को कथित तौर पर थप्पड़ मारने के लिए कहने वाली अध्यापिका के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। शिक्षिका पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने का भी आरोप है। इस मामले ने अब राजनीतिक रंग ले लिया है।
मुजफ्फरनगर पुलिस की ओर से जारी एक बयान में बताया गया है कि खुब्बापुर गांव स्थित स्कूल की अध्यापिका द्वारा एक छात्र के स्कूल का कार्य न करने पर उसे कक्षा के अन्य छात्रों से पिटवाने और उसके खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने की घटना के संबंध में पीड़ित छात्र के परिजनों की तहरीर पर मंसूरपुर पुलिस द्वारा सुसंगत धाराओं में मामला दर्ज किया गया है। आरोपी शिक्षिका का नाम तृप्ता त्यागी बताया जा रहा है।
आरोप है कि दूसरी कक्षा में पढ़ने वाले एक छात्र की शुक्रवार को उसकी कक्षा के अन्य छात्रों ने पिटाई कर दी और अध्यापिका के निर्देश पर उसे एक के बाद एक थप्पड़ मारे। यह भी आरोप है कि वीडियो में एक समुदाय विशेष के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की गई है।
क्या कहा शिक्षिका ने : स्कूल की अध्यापिका ने कहा कि बच्चे के परिजनों ने कहा था कि बच्चे पर सख्ती बरतें। मैं विकलांग हूं इसलिए मैंने दूसरे छात्रों से पिटाई कराई, ताकि वह होम वर्क कर ले। वहीं, यूपी सरकार के मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि चुनाव वक्त विपक्ष छोटी सी भी घटना का मुद्दा बनाता है। मामले को पुलिस ने संज्ञान लिया है। संजीव बालियान ने कहा कि इस मामले को जानबूझकर तूल दिया जा रहा है।
राहुल गांधी ने जताई आपत्ति : कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को उत्तर प्रदेश की उस शिक्षिका के व्यवहार पर आपत्ति जताई जिसने अपने छात्रों को अल्पसंख्यक समुदाय के एक छात्र को कथित तौर पर थप्पड़ मारने के लिए कहा था। राहुल ने कहा कि स्कूल जैसे पवित्र स्थान को नफरत का बाजार बनाया जा रहा है। उनकी यह टिप्पणी सोशल मीडिया में प्रसारित शिक्षिका के एक वीडियो पर आई है।
राहुल ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि मासूम बच्चों के मन में भेदभाव का ज़हर घोलना, स्कूल जैसे पवित्र स्थान को नफ़रत का बाज़ार बनाना - एक शिक्षक, देश के लिए इससे बुरा कुछ नहीं कर सकता। उन्होंने कहा कि ये भाजपा का फैलाया वही केरोसिन है, जिसने भारत के कोने-कोने में आग लगा रखी है। बच्चे भारत का भविष्य हैं - उनको नफ़रत नहीं, हम सबको मिल कर मोहब्बत सिखानी है।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी इस घटना पर निराशा जताई है और कहा कि हम अपनी आने वाली पीढ़ियों को कैसा क्लासरूम, कैसा समाज देना चाहते हैं?
शिक्षिका को बर्खास्त करने की मांग : सपा के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने शनिवार को मुजफ्फरनगर जिले की उस शिक्षिका को तत्काल बर्खास्त करने की मांग की, जिसने अपने छात्रों को अल्पसंख्यक समुदाय के एक छात्र को कथित तौर पर थप्पड़ मारने के लिए कहा था। अखिलेश यादव ने घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर शेयर किया है।
सपा ने सत्तारूढ़ भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा और आरएसएस की नफरती राजनीति, देश को यहां ले आई! मुजफ्फरनगर में एक अध्यापिका अल्पसंख्यक समाज के बच्चे को दूसरे बच्चों से थप्पड़ मरवा रही। मासूमों के मन में जहर घोलने वाली शिक्षिका को तुरंत बर्खास्त किया जाए। उसे कड़ी से कड़ी सजा दी जाए।
सतही राजनीति : प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता हरिश्चंद्र श्रीवास्तव ने कहा कि सपा प्रमुख का मुजफ्फरनगर के स्कूल की घटना को लेकर किया गया ट्वीट वोट की सतही राजनीति है और समाज में वैमनस्य पैदा करने का घृणित राजनीतिक एजेंडा है। श्रीवास्तव ने कहा- हम सभी विद्यार्थी पहाड़ा याद न करने, गणित के सवाल सही हल न करने या लिखावट अच्छी न होने के कारण स्कूल में शिक्षकों द्वारा दंडित किए जाते रहे हैं। यह छात्रों में अनुशासन लाने और उनकी प्रतिभा निखारने की सहज प्रक्रिया रही है। हालांकि उन्होंने कहा कि अन्य विद्यार्थियों से दंडित कराना गलत है।
शर्म से झुका सिर : वहीं, पीलीभीत से भाजपा सांसद वरुण गांधी ने मामले को लेकर एक्स पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि ज्ञान के मंदिर में एक बच्चे के प्रति घृणा भाव ने पूरे देश का सिर शर्म से झुका दिया है। शिक्षक वो माली है, जो प्राथमिक संस्कारों में ज्ञान रूपी खाद डालकर व्यक्तित्व ही नहीं, राष्ट्र भी गढ़ता है। इसलिए दूषित राजनीति से परे एक शिक्षक से उम्मीदें कहीं अधिक हैं। देश के भविष्य का सवाल है। (एजेंसी/वेबदुनिया)
Edited by: Vrijendra Singh Jhala