नई दिल्ली। पीएनबी से 11 हजार 400 करोड़ की धोखाधड़ी मामले में विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को नीरव मोदी और मेहुल चौकसी का पासपोर्ट रद्द कर दिया। सीबीआई और ईडी ने आज भी देश में कई स्थानों पर इन दोनों से जुड़े कई स्थानों पर छापे मारे।
विदेश मंत्रालय ने पंजाब नेशनल बैंक फर्जीवाडे के आरोपियों नीरव दीपक मोदी और मेहुल चिनुभाई चौकसी के पासपोर्ट तत्काल प्रभाव से चार सप्ताह के लिए रद्द कर दिए हैं।
विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को एक विज्ञप्ति जारी कर कहा कि प्रवर्तन निदेशालय की सलाह पर पासपोर्ट अधिनियम 1967 की धारा 10 (ए) के तहत यह कार्रवाई की गई है।
विदेश मंत्रालय ने नीरव मोदी तथा मेहुल चौकसी दोनों से एक सप्ताह में इस बात का जवाब मांगा है कि उनके पासपोर्ट स्थायी तौर पर क्यों न रद्द कर दिए जाएं। मंत्रालय ने कहा है कि यदि इन दोनों की ओर से निर्धारित अवधि में कोई जवाब नहीं दिया जाता है तो यह माना जायेगा कि उनके पास इस मामले में अपनी सफाई में कहने के लिए कुछ नहीं है। इसके बाद पासपोर्ट अधिनियम की धारा 10 (3) (सी) के तहत उनके पासपोर्ट स्थायी रूप से रद्द कर दिए जाएंगे।
उल्लेखनीय है कि नीरव मोदी और मेहुल चौकसी पर पंजाब नेशनल बैंक में फर्जीवाडे के आधार पर 11 हजार करोड़ रुपए का लेन देन करने का आरोप है। फर्जीवाडे का खुलासा होने से पहले ही ये दोनों देश छोड़कर भाग गए थे।
सीबीआई ने गीतांजलि समूह के खिलाफ ताजा प्राथमिकी दायर की और कहा कि पीएनबी को कथित तौर पर 4886 करोड़ रुपए से अधिक का नुकसान हुआ है। सीबीआई ने छह शहरों के 20 स्थानों में गीतांजलि कंपनी समूह के परिसरों पर छापे मारे।
शेयर बाजार को दी जानकारी में यूनियन बैंक ने कहा कि पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के 11,400 करोड़ रुपए के घोटाले में सउसका भी 30 करोड़ डॉलर यानी करीब 1,915 करोड़ रुपए फंसे हुए है। हालांकि बैंक का दावा है कि उसका पैसा सुरक्षित है और वह इसे वसूल कर लेगी।