नई दिल्ली। देश की सबसे बड़ी कार कंपनी मारुति सुजुकी इंडिया (एमएसआई) ने बीते वित्त वर्ष (2021-22) में भारतीय रेलवे के जरिए 2.33 लाख वाहनों को देश के विभिन्न हिस्सों में बिक्री के लिए भेजा है। इस कदम से कंपनी को ट्रकों के करीब 1,56,000 फेरे कम लगे हैं और 17.4 करोड़ लीटर ईंधन की बचत हुई है। यह कंपनी के लिए रेलवे के जरिए भेजी जाने वाली कारों की खेप का सबसे ऊंचा आंकड़ा है।
कंपनी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी देते हुए कहा कि मारुति ने करीब आठ साल पहले अपने वाहनों को रेलवे के जरिए देश के विभिन्न हिस्सों में भेजना शुरू किया था। कंपनी ने 2020-21 में रेलवे के जरिए 1.89 लाख वाहनों की खेप भेजी थी। इस तरह 2021-22 में उसकी रेलवे के जरिए ढुलाई 23 प्रतिशत बढ़ी है।
कुल मिलाकर वाहन क्षेत्र की दिग्गज कंपनी ने पिछले आठ साल में रेलवे के जरिए 11 लाख कारें देश के विभिन्न हिस्सों में बिक्री के लिए भेजी हैं। इससे 4,800 टन कॉर्बन डॉईऑक्साइड उत्सर्जन को कम करने में मदद मिली है।इस कदम से ट्रकों के करीब 1,56,000 फेरे कम लगे हैं और 17.4 करोड़ लीटर ईंधन की बचत हुई है।
मारुति सुजुकी के कार्यकारी निदेशक राहुल भारती ने कहा, रेलवे के जरिए कारें भेजने से कॉर्बन उत्सर्जन घटाने में तो मदद मिलती ही है, साथ ही सड़क पर जाम से भी निजात मिलती है। उन्होंने बताया कि 2014-15 में कंपनी ने रेलवे के जरिए 66,000 वाहनों की आपूर्ति की थी। 2021-22 में यह आंकड़ा बढ़कर 2.33 लाख इकाई हो गया है।
उन्होंने कहा कि कंपनी अपने वाहनों को भेजने के लिए रेलवे का इस्तेमाल बढ़ाएगी। अभी कंपनी द्वारा देश के विभिन्न हिस्सों में भेजे जाने वाले वाहनों में से 15 प्रतिशत रेल के जरिए जाते हैं। कंपनी के पास 41 रेलवे रैक हैं। प्रत्येक रैक की क्षमता 300 वाहनों की है।(भाषा)