DU में नहीं पढ़ाई जाएगी मनुस्मृति, कुलपति ने खारिज किया प्रस्ताव

वेबदुनिया न्यूज डेस्क
शुक्रवार, 12 जुलाई 2024 (20:07 IST)
Manusmriti will not be taught in Delhi University : दिल्ली विश्वविद्यालय (DU) के कुलपति योगेश सिंह ने शुक्रवार को कहा कि एलएलबी छात्रों के लिए मनुस्मृति शुरू करने का प्रस्ताव खारिज कर दिया गया क्योंकि यह उचित नहीं पाया गया। उन्होंने कहा कि ऐसे अन्य ग्रंथ भी हैं जिनका इस्तेमाल भारतीय ज्ञान पढ़ाने के लिए किया जा सकता है।
 
सिंह ने कहा कि शुक्रवार को अकादमिक परिषद की बैठक के एजेंडे की ‘पूर्व स्क्रीनिंग’ के दौरान प्रस्ताव को रद्द करने के लिए उन्होंने अपनी आपातकालीन शक्तियों का इस्तेमाल किया। कुलपति ने एलएलबी छात्रों को मनुस्मृति पढ़ाने के प्रस्ताव को बृहस्पतिवार को वापस ले लिया और स्पष्ट किया कि शिक्षकों के एक वर्ग द्वारा इस पर आपत्ति जताए जाने के बाद विश्वविद्यालय द्वारा ऐसा कोई पाठ नहीं पढ़ाया जाएगा।
ALSO READ: NEET मुद्दे पर शिक्षा मंत्री ने विपक्ष पर साधा निशाना, बोले- झूठ फैला रहे कांग्रेस और INDIA गठबंधन
न्याय शास्त्र के पाठ्यक्रम में प्रस्तावित परिवर्तन एलएलबी के सेमेस्टर एक और छह से संबंधित हैं। संशोधनों के अनुसार, छात्रों के लिए दो पाठ्यपुस्तकों- जीएन झा द्वारा लिखित ‘मनुस्मृति : मेधातिथिभाष्यसमेता’ और टी. कृष्णस्वामी अय्यर द्वारा लिखी ‘कमेंट्री ऑफ मनुस्मृति- स्मृतिचंद्रिका’ पाठ्यक्रम में शामिल करने का प्रस्ताव था।
ALSO READ: NEET पेपर लीक मामले पर बोले शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान, सरकार किसी गुनाहगार को नहीं छोड़ेगी
सिंह की अध्यक्षता वाली समिति ने निर्णय लिया कि विधि संकाय द्वारा प्रस्तुत प्रस्ताव विचार-विमर्श के लिए उपयुक्त नहीं है, तथा इसे डीयू की निर्णय लेने वाली सर्वोच्च संस्था अकादमिक परिषद के समक्ष रखे जाने से पहले ही खारिज कर दिया गया। सिंह ने कहा, जब यह प्रस्ताव मेरी अध्यक्षता वाली समिति के समक्ष रखा गया तो हमने इसे उचित नहीं पाया और इसे खारिज कर दिया। भारतीय ज्ञान सिखाने के लिए कई अन्य ग्रंथ हैं और हमें किसी एक ग्रंथ पर निर्भर नहीं रहना चाहिए।
ALSO READ: NEET PG रद्द होने पर भड़का विपक्ष, शिक्षा मंत्री से मांगा इस्तीफा
इस प्रस्ताव की शिक्षकों के एक वर्ग ने कड़ी आलोचना की, जिनका कहना था कि मनुस्मृति महिलाओं और हाशिए के समुदायों के अधिकारों के प्रति प्रतिगामी है तथा प्रगतिशील शिक्षा प्रणाली के विरुद्ध है। वामदल संबद्ध ऑल इंडिया स्टूडेंट एसोसिएशन (आइसा) के कई छात्रों ने अस्वीकृत प्रस्ताव के खिलाफ कुलपति कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया और इसे विश्वविद्यालय के भगवाकरण की ओर एक कदम बताया।(भाषा)
Edited By : Chetan Gour 

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

1000km दूर बैठा दुश्मन पलक झपकते तबाह, चीन-पाकिस्तान भी कांपेंगे, लैंड अटैक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण

उद्धव ठाकरे की 2 दिन में 2 बार चेकिंग से गर्माई महाराष्ट्र की सियासत, EC ने कहा- शाह और नड्डा की भी हुई जांच

महाराष्ट्र में विपक्ष पर बरसे मोदी, कहा अघाड़ी का मतलब भ्रष्टाचार के सबसे बड़े खिलाड़ी

Ayushman Card : 70 साल के व्यक्ति का फ्री इलाज, क्या घर बैठे बनवा सकते हैं आयुष्मान कार्ड, कैसे चेक करें पात्रता

बोले राहुल गांधी, भाजपा ने जितना पैसा अरबपति मित्रों को दिया उससे ज्यादा हम गरीब और किसानों को देंगे

सभी देखें

नवीनतम

UPPSC: अखिलेश ने साधा आदित्यनाथ पर निशाना, कहा योगी बनाम प्रतियोगी छात्र हुआ माहौल

Maharashtra Election 2024 : पाकिस्तान की भाषा बोल रही है कांग्रेस, पुणे में बोले PM मोदी

सलमान खान को धमकी देने वाला कर्नाटक से गिरफ्‍तार, मांगी थी 5 करोड़ की फिरौती

मथुरा की रिफाइनरी में लगी आग, 10 से अधिक लोग झुलसे

दिल्ली में वायु गुणवत्ता 14वें दिन भी बेहद खराब, AQI 307 दर्ज, 17 नवंबर से गिरेगा तापमान

अगला लेख
More