Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia
Advertiesment

आरक्षण पर लोगों को गुमराह कर रही कांग्रेस, दिग्गी के खिलाफ बीजेपी नेताओं ने खोला मोर्चा

हमें फॉलो करें आरक्षण पर लोगों को गुमराह कर रही कांग्रेस, दिग्गी के खिलाफ बीजेपी नेताओं ने खोला मोर्चा
webdunia

विकास सिंह

, शुक्रवार, 14 फ़रवरी 2020 (15:19 IST)
भोपाल।  आरक्षण को लेकर मध्य प्रदेश की सियासत गरमा गई है। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के आरक्षण पर 23 फरवरी को होने वाले भारत बंद का समर्थन करने के बाद अब भाजपा नेता कांग्रेस पर अक्रामक हो गए है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष राकेश सिंह और पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कांग्रेस आरक्षण के नाम पर लोगों को गुमराह करने के लिए दुष्प्रचार कर रही है।
 
उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने आरक्षण के मुद्दे पर अब तक जो भी किया है, वह देश की जनता की आंखों में धूल झोंकने के अलावा कुछ नहीं है। कांग्रेस के नेता देश के दलित, आदिवासी और कमजोर वर्ग के लोगों के साथ की गई धोखाधड़ी और उनके विकास में अपनी असफलताओं पर पर्दा डालने का ही काम करते रहे हैं। कांग्रेस पार्टी अपने इन कृत्यों का ठीकरा दूसरों के सिर फोड़ती रही है और अब आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट के निर्णय पर भी यही कर रही है।
webdunia
भाजपा नेताओं ने प्रमोशन में आरक्षण के मामले में स्थिति को स्पष्ट करते हुए कहा कि इस  मामले में केंद्र सरकार की कोई भूमिका नहीं है। प्रमोशन में आरक्षण के मामले में पूरी व्यवस्था सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड सरकार के एक मामले पर सुनवाई करते हुए दी है और यह उस समय का यह मामला है, तब उत्तराखंड में कांग्रेस की सरकार थी। कांग्रेस अगर वास्तव में प्रमोशन में आरक्षण की पक्षधर थी, तो उसने उस समय इसे लेकर अपनी ही उत्तराखंड सरकार से बातचीत क्यों नहीं की? 
 
दोनों ही नेताओं ने कहा कि कांग्रेस ने कभी भी देश के दलितों और आदिवासियों का भला नहीं चाहा और ना ही उनके लिये कोई काम किया। उसकी दिलचस्पी सिर्फ इस वर्ग को एक वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल करने की रही है और वह पिछले 70 सालों से यही करती रही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस प्रदेश की जनता और विशेषकर युवाओं को मूर्ख बनाने के लिये उन्हें भाजपा का नाम लेकर गुमराह करने का प्रयास कर रही है। 
 
 

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

एक जिंदगी की शहादत को चार दिन भी सहेज न सकें तो हम क्या भारतवासी?