भारत-बांग्लादेश सीमा पर शनिवार को सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की सीमा चौकी के नजदीक दोनों देशों के किसानों के बीच कहासुनी के बाद हुई संक्षिप्त झड़प की वजह से तनाव पैदा हो गया। केंद्रीय अर्धसैनिक बल ने यह जानकारी दी। उसने बताया कि कहासुनी ने जल्द ही उग्र रूप ले लिया और दोनों पक्षों के किसान बड़ी संख्या में एकत्र हो गए, एक-दूसरे को गालियां देने लगे और एक-दूसरे पर पत्थरबाजी करने लगे।
बल ने एक बयान में कहा कि बीएसएफ और उसके बांग्लादेशी समकक्ष बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश (बीजीबी) ने तत्काल हस्तक्षेप किया और जल्द ही स्थिति को नियंत्रित कर लिया। बीएसएफ के मुताबिक यह घटना पूर्वाह्न करीब 11:45 बजे हुई जब अंतरराष्ट्रीय सीमा के पास काम कर रहे भारतीय किसानों ने बांग्लादेशी किसानों पर फसल चोरी करने का आरोप लगाया।
बीएसएफ ने एक बयान में कहा, बीएसएफ और बीजीबी कर्मियों ने समय पर हस्तक्षेप किया और स्थिति पर तत्काल काबू पाया। दोनों पक्षों के किसानों को तितर-बितर कर दिया गया और उन्हें अपने-अपने क्षेत्रों में वापस भेज दिया गया। घटना में किसी के घायल होने की सूचना नहीं है।
बीएसएफ ने इस तरह के विवादों से बचने पर जोर दिया और भारतीय किसानों को सलाह दी कि वे सीमा पर कृषि संबंधी किसी भी समस्या की सूचना सीधे बल के कर्मियों को दें। बयान में कहा गया, हमने भारतीय किसानों से शांति बनाए रखने और सीमा विवादों में शामिल होने से बचने का अनुरोध किया है। किसी भी शिकायत के मामले में आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।
सीमा पार बीजीबी ने भी स्थिति को नियंत्रित करने में अहम भूमिका निभाई। दोपहर बाद तक कुछ बांग्लादेशी नागरिक अंतरराष्ट्रीय सीमा के 50-75 मीटर के दायरे में देखे गए, लेकिन खबरों के मुताबिक बीजीबी कर्मियों ने उन्हें रोक दिया, जिससे स्थिति नहीं बिगड़ी। बयान के मुताबिक बीएसएफ और बीजीबी के इलाके में तैनात कमांडेंट भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचने के वास्ते समन्वय बढ़ाने के लिए काम कर रहे हैं।
तस्करों के पथराव में जवान घायल : बांग्लादेशी तस्करों द्वारा किए गए पथराव में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के एक जवान के सिर में गंभीर चोटें आईं। यह घटना 20 और 21 जनवरी की रात को पश्चिम बंगाल के कूच बिहार में बीएसएफ की 90वीं बटालियन के अंतर्गत आने वाले नारायणगंज सीमा चौकी के पास हुई। बीएसएफ के गुवाहाटी फ्रंटियर ने एक बयान में कहा कि सीमा पर तैनात जवानों ने 20 जनवरी को बांग्लादेश की तरफ बड़ी संख्या में बदमाशों की संदिग्ध हरकत देखी।
बयान में कहा गया कि इन लोगों ने अवैध रूप से और जानबूझकर अंतरराष्ट्रीय सीमा की पवित्रता का उल्लंघन किया था और अपने भारतीय सहयोगियों की मदद से प्रतिबंधित वस्तुओं की तस्करी करने का प्रयास कर रहे थे। सतर्क बीएसएफ जवानों ने उन्हें अपनी गैरकानूनी गतिविधियों को बंद करने और बांग्लादेश की सीमा में वापस जाने की चुनौती दी। हालांकि, बांग्लादेशी बदमाशों ने बार-बार मौखिक चेतावनी को नजरअंदाज कर दिया।" बयान में आगे कहा गया कि तस्करों ने आक्रामक रुख अपनाते हुए बीएसएफ कर्मियों के साथ दुर्व्यवहार किया और पथराव किया, जिसमें बल के एक जवान के सिर में गंभीर चोटें आईं। उन्हें इलाज के लिए बीएसएफ अस्पताल ले जाया गया। इनपुट भाषा