बुलंदशहर। बुलंदशहर में सोमवार को गोकशी की अफवाह में फैली हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह समेत दो लोगों की मौत हो गई थी। सुबोध कुमार के परिजन ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की। इस घटना में सुमित नामक युवक की भी गोली लगने के कारण मौत हो गई थी।
इस हिंसा मुख्य आरोपी योगेश राज अभी गिरफ्त से बाहर है। इस बीच खबरें आ रही हैं कि हिंसा में शहीद हुए पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह का बहुचर्चित अखलाक लिंचिंग केस से कनेक्शन हो सकता है। उधर डीजीपी ने कहा कि इस बुलंदशहर हिंसा एक बड़ी साजिश हो सकती है।
पीड़ित परिवार का दावा : पीड़ित परिवार का दावा है कि इंस्पेक्टर सुबोध गोकशी के शक में हुए मोहम्मद अखलाक की पीट-पीटकर हत्या (मॉब लिंचिंग) मामले में जांच अधिकारी और महत्वपूर्ण गवाह रह चुके थे। वर्ष 2015 में ग्रेटर नोएडा के दादरी में भीड़ ने मोहम्मद अखलाक और उनके बेटे पर घर में घुसकर हमला कर दिया था। इसमें अखलाक की मौत हो गई थी। इस केस में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार गवाह नंबर-7 थे।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट से गोली लगने की पुष्टि : इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में यह बात सामने आई कि उनकी मौत गोली लगने से हुई है। सुबोध सिंह को बांईं आंख की भौं के पास गोली लगी।
पुलिस ने माना, बड़ी साजिश हुई : यूपी के डीजीपी ने कहा कि बुलंदशहर हिंसा बड़ी साजिश थी। जो हुआ, वह सिर्फ कानून-व्यवस्था का मुद्दा नहीं था, बल्कि साजिश थी।
यूपी सरकार ने दिए जांच के आदेश : उत्तरप्रदेश सरकार ने भी इस मामले में साजिश की बात कही है। यूपी सरकार के ट्विटर हैंडल से ट्वीट है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले में निर्देश दिए हैं कि अभियान चलाकर माहौल को खरब कर रहे तत्वों को बेनकाब किया जाए।
वीडियो में आरोपी ने कहा बेगुनाह हूं : सोशल मीडिया के माध्यम से बुलंदशहर हिंसा का मुख्य आरोपी योगेश राज में फरारी के दौरान एक वीडियो बनाया है जिसमें वह अपने आपको निर्दोष बता रहा है और कह रहा है कि वह बेकसूर है और उसके साथ अन्याय नहीं होगा ऐसा उसे ईश्वर पर पूर्ण भरोसा है।
एक दूसरा वीडियो भी वायरल हुआ है जो शिखर अग्रवाल का बताया जा रहा है, जो भाजपा युवा मोर्चा का नगर अध्यक्ष है। वह भी अपने आपको निर्दोष बता रहा है।