जम्मू। कोरोना महामारी के चलते आज लगातार दूसरे साल वार्षिक अमरनाथ यात्रा को सांकेतिक तौर पर संपन्न करवा दिया गया। श्रावण पूर्णिमा रक्षा बंधन के दिन संपन्न हुई। दशनामी अखाड़ा श्रीनगर के महंत दीपेंद्र गिरि के नेतृत्व में गिने चुने साधु संतों व अधिकारियों के एक दल ने छड़ी मुबारक के आज दर्शन किए। इस बार भी कोरोना से उपजे हालात के कारण यात्रा को रद्द किया गया था।
इस बार पवित्र गुफा से रोजाना आरती का सीधा प्रसारण किया गया। अमरनाथ की यात्रा को 28 जून से लेकर शुरू किए जाने का फैसला किया गया मगर कोरोना से उपजे हालात के कारण यात्रा को रद्द किया गया। शिव भक्तों ने घर बैठे ही पवित्र गुफा में शिवलिंग के दर्शन किए। आज रक्षा बंधन वाले दिन छड़ी मुबारक हेलीकाप्टर से पवित्र गुफा स्थल तक पहुंची।
अमरनाथ श्राईन बोर्ड के अधिकारी, सुरक्षा बल, प्रशासनिक व पुलिस के अधिकारी भी मौजूद रहे। छड़ी मुबारक की विधिवत पूजा अर्चना की गई। इसके साथ ही सांकेतिक अमरनाथ यात्रा संपन्न हो गई। इससाल तीन लंगर लगाए गए थे ताकि कर्मचारियों, सुरक्षा बलों को परेशानियों का सामना न करना पड़े। छड़ी मुबारक व श्राईन बोर्ड के अधिकारियों ने जम्मू कश्मीर में शांति, खुशहाली की प्रार्थना की।
सीमित साधु संतों के साथ स्वामी अमरनाथ छड़ी मुबारक को पवित्र गुफा में गुफा के दर्शन कराए गए। इस दौरान बम बम भोले, जय शिव शंकर आदि के जयघोषों के साथ पूरा माहौल शिवमय हो गया। छड़ी मुबारक को श्रीनगर से हेलिकाप्टर के माध्यम से पवित्र गुफा तक पहुंचाया गया। वापसी पर रात्रि को छड़ी मुबारक पहलगाम में विश्राम करेगी।
सोमवार को पहलगाम स्थित लिद्दर नदी में छड़ी विसर्जन पूजा के साथ छड़ी का समापन होगा। कोविड महामारी के कारण इस साल लगातार दूसरी बार अमरनाथ यात्रा को रद्द किया गया है।
यात्रा रद्द होने के बावजूद अमरनाथ श्राइन बोर्ड की ओर से सभी पारंपरिक आध्यात्मिक गतिविधियों को संपन्न किया गया है। महंत दीपेंद्र गिरि के नेतृत्व में सीमित साधुओं के साथ छड़ी मुबारक रविवार को गुफा पहुंची थी।