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प्रेगनेंट महिलाओं के लिए गजब हैं शकरकंद के फायदे, ऐसे करें डाइट में शामिल

गर्भवती महिलाओं के लिए लाभाकरी है शकरकंद का सेवन, जानिए क्या हैं फ़ायदे

हमें फॉलो करें How to eat sweet potato in pregnancy

WD Feature Desk

, बुधवार, 18 सितम्बर 2024 (17:52 IST)
How to eat sweet potato in pregnancy

Sweet Potato Benefits in Pregnancy: गर्भावस्था के समय किसी भी महिला के लिए खान-पान की बहुत अहमियत होती है। प्रेगनेंट महिला को अपने   आहार में पोषण के स्तर को बढ़ाने के लिए कई हेल्दी फूड्स का सेवन करने की सलाह दी जाती है। इस दौरान आहार में उन फूड्स को शामिल करने की सलाह दी जाती है, जिससे शरीर को आयरन, फोलेट और विटामिन बी की प्राप्ति होती है। इन्हीं में से एक है स्वीट पोटैटो। स्वीट पोटैटो से न केवल शरीर में विटामिन और मिनरल की पूर्ति होती है बल्कि बच्चे की ग्रोथ में भी मदद होती है। आज इस आलेख में हम आपको बता रहे हैं शकंरकंद को गर्भवती महिलाओं की डाइट में शामिल करने से क्या फायदे मिलते हैं।ALSO READ: गर्भवती महिलाओं को क्यों नहीं खाना चाहिए बैंगन? जानिए क्या कहता है आयुर्वेद

गर्भावस्था में शकरकंद का सेवन करने के फ़ायदे (sweet potato in pregnancy)
एक्सपर्ट्स के अनुसार शकरकंदी को प्रेगनेंसी डाइट चार्ट में अवश्य शामिल करना चाहिए। गर्भवती महिलाओं को शकरकंद के सेवन से हेल्दी वेटगेन में मदद मिलती है। शकरकंद में मौजूद पोषक तत्वों से मां और बच्चे का स्वास्थ्य उचित बना रहता है। साथ ही शरीर को फाइबर, बीटा कैरोटीन और विटामिन बी की प्राप्ति होती है। शकरकंद के सेवन से शरीर में गर्भावस्था के दौरान ब्लड का लेवल उचित बना रहता और गर्भावस्था में होने वाली मॉर्निंग सिकनेस कम होने लगती है। शकरकंद आसानी से डाइजेस्ट हो जाता है और इसे स्मूदी, सूप, फ्राइज़ और रोस्ट व उबालकर खा सकते हैं।

शकरकंदी से शरीर को क्या फायदे मिलते हैं (Benefits of sweet potato)
बीटा कैरोटीन का बढ़िया सोर्स
शकरकंद में कैरोटीन की उच्च मात्रा पाई जाती है जो विटामिन ए में कनवर्ट होकर शरीर को फायदा पहुंचाती है। इससे गर्भ में पल रहे बच्चे के हृदय, फेफड़े, गुर्दे, स्किन, आंखों और इम्यून सिस्टम को बनाए रखने में मदद मिलती है। विटामिन ए के इस रिच सोर्स से बच्चे की हेल्थ के अलावा मां का स्वास्थ्य भी उचित बना रहता है।

फाइबर से भरपूर
आहार में फाइबर की भरपूर मात्रा लेने से प्रेगनेंसी के दौरान पाचनतंत्र उचित बना रहता है। आमतौर पर गर्भवती महिलाओं में बढ़ने वाली कब्ज, एसिडिटी और ब्लोटिंग की समस्या से राहत मिल जाती है। शकरकंद के सेवन से गुड बैक्टीरिया की मात्रा बढ़ने लगती है, जिससे गट हेल्थ को फायदा मिलता है और इनडाइजेशन से बचा जा सकता है।

शरीर को मिलेंगे विटामिन और मिनरल्स
गर्भावस्था में शकरकंद का सेवन करने से शरीर में पोटेशियम की आपूर्ति होती है। इससे शरीर में इलेक्‍ट्रोलाइट का बैलेंस बना रहता है, जिससे ब्लड प्रैशर बढ़ने का जोखिम कम होने लगता है। इससे मसल्स क्रैंप्स से राहत मिलती है और मसल्स फंक्शनिंग बेहतर बनने लगती है। इसमें मौजूद विटामिन सी की मात्रा इम्यून सिस्टम को बूस्ट करने के अलावा आयरन के एब्जॉर्बशन को बढ़ाती है। शरीर को आयरन की प्राप्ति होती है एनीमिया को रोकने में मदद मिलती है और ब्लड वॉल्यूम बढ़ता है।

कॉम्प्लेक्स कार्ब्स की पूर्ति
शकरकंद को आहार में शामिल करने से शरीर में लगातार एनर्जी का स्तर बना रहता है, जो गर्भावस्था के दौरान आवश्यक है। इससे ब्लड शुगर लेवल को संतुलित रखने में मदद मिलती है। इसमें मौजूद लो ग्लाइसेमिक इंडैक्स की मदद से गैस्टेशनल डायबिटीज़ का खतरा कम हो जाता है। इसके चलते डिलीवरी के दौरान होन वाली कॉम्प्लीकेशन से बचा जा सकता है।

विटामिन बी 9 और फोलेट की पूर्ति होती है
शकरकंद के सेवन से शरीर में विटामिन बी 9 और फोलेट की उच्च मात्रा बनी रहती है। इससे फीटल ब्रेन और नर्वस सिस्टम के विकास में मदद मिलती है। साथ ही स्पाइनल कॉर्ड को डेवलप किया जा सकता है। इसके नियमित सेवन से न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट से राहत मिल जाती है।
 

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