मध्यप्रदेश के गुना में काले हिरण के बेखौफ शिकारियों ने 3 पुलिसकर्मियों को मार डाला, 1 बदमाश का शव भी बरामद
घटना के बाद ग्वालियर आईटी को हटाया गया
भोपाल। मध्यप्रदेश के गुना जिले में आरोन थाना इलाके में काले हिरण के शिकारियों ने एक एसआई सहित 3 पुलिसकर्मियों की गोली मारकर हत्या कर दी है। बैखोफ शिकारियों ने पुलिस कर्मियों को उस वक्त मौत के घाट उतारा जब पुलिस की टीम ने शिकारियों को रोकने की कोशिश की। तीन पुलिसकर्मियों की हत्या की खबर लगते ही गुना से लेकर भोपाल तक हड़कंप मच गया है।
शिकारियों ने 3 पुलिसकर्मियों की हत्या- गुना के आरोन थाना में तैनात एसआई राजकुमार जाटव, प्रधान आरक्षक नीरज भार्गव और आरक्षक संतराम मीणा रात्रि गश्त पर थे, तड़के 2.30 से 3 बजे के बीच पुलिस टीम की काले हिरण के शिकारियों से आमान-सामान हो गया। पुलिस को देखकर शिकारियों ने फायरिंग शुरु कर दी जिसमें एसआई राजकुमार जाटव, प्रधान आरक्षक नीरज भार्गव और संतराम की मौके पर मौत हो गई है। वहीं पुलिस की गाड़ी का ड्राइवर लखनगिरी गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हो गया, जिनका गुना के अस्पताल में इलाज जारी है। घटना के कुछ देर बाद इलाके की सर्चिंग के दौरान पुलिस की क्रास फायरिंग में घायल हुए शिकारी नौशाद का शव पास के बिदौरिया गांव से पुलिस ने बरामद किया है। गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा के मुताबिक पुलिस ने घटना में शामिल सात आरोपियों की पहचान कर ली है और जल्द ही अपराधियों की गिरफ्तारी होगी।
ग्वालियर आईजी पर गिरी गाज- घटना के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सुबह उच्चस्तरीय बैठक बुलाई। बैठक में मुख्यमंत्री ने सीनियर पुलिस अधिकारियों की भूमिका पर नाराजगी जताते हुए ग्वालियर आईजी अनिल शर्मा को तत्काल हटाने के निर्देश दिए। ग्वालियर आईजी को घटना स्थल पर देरी से पहुंचने पर हटाया गया है। अनिल शर्मा की जगह अब डी श्रीनिवास वर्मा ग्वालियर रेंज के नए आईजी होंगे।
शहीद का दर्जा,1-1 करोड़ की सम्मान राशि-उच्चस्तरीय बैठक के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि घटना में शहादत देने वाले तीनों पुलिस के साथी भाई राजकुमार जाटव, धीरज भार्गव और सिपाही संतराम की शहादत व्यर्थ नहीं जाने दी जाएगी। इन्होंने अपनी कर्तव्य की बल बेदी पर अपने आप को न्योछावर किया है, वो शिकारियों को रोकने खड़े थे। इसलिए उनकी शहादत का सम्मान करता हूं।
मुख्यमंत्री ने मारे गए पुलिस कर्मियों को शहीद का दर्जा देने के साथ परिवार को एक- एक करोड़ रुपए की सम्मान निधि और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने का एलान किया। इसके साथ शहीद पुलिसकर्मियों का पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।