मुरैना से एक मार्मिक वीडियो सामने आया है। भाई की बेबसी का यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इसमें एक 8 साल का बच्चा, अपने 2 साल के भाई का शव गोद में लेकर बैठा है। शव पर पड़ी सफेद चादर पर मक्खियां लग रही हैं।
हॉस्पिटल के बाहर अपने पिता का इंतजार कर रहा है जो शव को घर ले जाने के लिए किसी वाहन की व्यवस्था करने गए हैं क्योंकि हॉस्पिटल ने गरीब होने की वजह से उसे एंबुलेंस देने से मना कर दिया। मृत बच्चे के पिता बताते हैं कि उनके पास एंबुलेस लेने के लिए पैसे नहीं थे।
बच्चा हैरानी से भरी निगाहों से अपने चारों तरफ देख रहा है लेकिन कोई उसकी सहायता नहीं कर रहा। पढ़िए क्या है पूरी कहानी-
मीडिया खबरों के अनुसार घटना मुरैना जिले के अंबाह के बड़फरा गांव की है। यहां पूजाराम जाटव के दो साल के बेटे राजा के पेट में अचानक दर्द हुआ। इसके बाद उसे आनन-फानन में मुरैना जिला अस्पताल ले जाया गया। राजा को बचाया नहीं जा सका और उसकी मौत हो गई। पूजाराम जाटव अस्पताल के अधिकारियों से शव को अपने गांव ले जाने के लिए एंबुलेंस के लिए गुहार लगाता रहा लेकिन किसी उसकी नहीं सुनी। पूजाराम, बच्चे के शव के साथ अस्पताल से बाहर आ गया और सस्ते वाहन की तलाश में भटकने लगा।
इस दौरान पूजाराम ने अपने 8 साल के बेटे गुलशन को छोटे भाई के शव के साथ अस्पताल के बाहर ही बैठा दिया और खुद वाहन की व्यवस्था करने के लिए निकल पड़ा। हालांकि अस्पताल के अधिकारियों का कहना है कि उन्होंने एंबुलेंस की व्यवस्था की थी लेकिन तब तक मृतक का पिता अपने घर जा चुका था। हालांकि मीडिया में ऐसी खबरें भी हैं कि एक पुलिस वाहन बच्चे के शव को जाटव के घर ले गया। इस बच्चे का वीडियो उन नेताओं के दावों पर तमाचा है, जो जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं का ढिंढोरा पीटते हैं।