एक तरफ कोरोनावायरस (Coronavirus) काल में लोग आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं, दूसरी ओर सब्जी और दालों के बढ़े हुए भाव उनके लिए नई मुसीबत लेकर आए हैं। अब रसोई में रोज उपयोग में आने वाला प्याज भी आम आदमी को रुलाने की तैयारी में है। राजधानी दिल्ली क्षेत्र में वर्तमान में प्याज 70-80 रुपए के आसपास पहुंच गया है। वहीं त्योहारी सीजन में इसके 100 रुपए के पार पहुंचने की संभावना जताई जा रही है।
दरअसल, प्याज की कम आपूर्ति के चलते प्याज के दामों में बढ़ोतरी हुई है। नई फसल अभी मंडियों तक नहीं पहुंची है, वहीं हाल ही में हुई बारिश ने भी फसल को नुकसान पहुंचाया है। राजधानी दिल्ली एवं आसपास के इलाकों में प्याज 70-80 रुपए प्रतिकिलो के आसपास बिक रहा है।
प्याज की कीमतों में लगातार वृद्धि को देखते हुए कहा जा रहा है कि दीपावली के आसपास प्याज 100 रुपए किलो के पार पहुंच जाए तो कोई आश्चर्य नहीं होगा। इसके पीछे एक कारण यह भी बताया कि चूंकि दाम बढ़ रहे हैं इसलिए लोग भविष्य में दाम बढ़ने की संभावनाओं के मद्देनजर इसका भंडारण कर रहे हैं।
हालांकि यह भी कहा जा रहा है कि नई फसल के आने के साथ ही प्याज के दाम गिरना शुरू हो जाएंगे। हैदराबाद और महाराष्ट्र में बारिश नहीं होती तो संभवत: भाव इतने नहीं बढ़ते। बारिश के कारण भी प्याज की फसल को नुकसान पहुंचा है। मध्यप्रदेश अच्छा प्याज 60 रुपए प्रतिकिलो के भाव से बिक रहा है, जबकि मीडियम प्याज 35-40 रुपए प्रति किलो के भाव से बिक रहा है।
इंदौर में चोइथराम आलू-प्याज मंडी के अध्यक्ष ओमप्रकाश कहते हैं कि इंदौर में अच्छा प्याज 50 रुपए किलो के थोक भाव से बिक रहा है। उन्होंने कहा कि गुरुवार को मंडी में 50-60 हजार कट्टों की आवक हुई। फिलहाल दाम स्थिर ही रहने की संभावना है। आने वाले दिनों में प्याज के दामों के बारे में ओमप्रकाश कहते हैं कि भाव बढ़ने की उम्मीद नहीं है। क्योंकि जल्द ही नई फसल की आवक भी शुरू हो जाएगी।
इसके साथ ही मालवा क्षेत्र के प्याज का स्वाद बाहर भी लोगों को भा रहा है। यहां से प्याज आसाम, बिहार, कोलकाता, बेंगलुरु, मुंबई, पुणे आदि देश की प्रमुख मंडियों में बिकने के लिए जा रहा है। दूसरी ओर, प्याज की बढ़ती कीमतों के चलते सोशल मीडिया पर मीम्स भी बनने शुरू हो गए हैं।