दिल्ली की NIA अदालत ने सांसद राशिद इंजीनियर को आतंकी फंडिंग मामले में अंतरिम जमानत दे दी है। यह जमानत 2 अक्टूबर, 2024 तक के लिए है। अदालत ने उन्हें जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव में प्रचार करने के लिए जमानत दी है। 27 अगस्त को इस मामले में सुनवाई करके कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा था।
इसके बाद आज कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए सांसद रशीद इंजीनियर को जमानत दे दी है। रशीद इंजीनियर ने 2019 में आतंकवाद की फंडिंग के आरोप में गिरफ्तार होने के बाद से दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं। रशीद इंजीनियर अपने विवादास्पद बयानों के लिए जाने जाते हैं। वे अक्सर केंद्र सरकार की नीतियों की आलोचना करते हैं।
अब्दुल्ला परिवार के धुर विरोधी : जम्मू-कश्मीर के प्रमुख अलगाववादी नेताओं में से एक राशिद को अब्दुल्ला परिवार का धुर विरोधी माना जाता है। उन्होंने हालिया लोकसभा चुनाव में नेशनल कॉन्फ्रेंस (National Conference) के नेता व पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला (Omar Abdullah) को बारामुला सीट पर जबरदस्त तरीके से 2 लाख से ज्यादा वोट से हराकर उन्हें करारा झटका दिया था।
जेल से लड़ा था चुनाव : रशीद इंजीनियर का असली नाम शेख अब्दुल रशीद है, एक कश्मीरी नेता और पूर्व विधायक हैं। वे जम्मू-कश्मीर के लंगेट विधानसभा क्षेत्र से दो बार विधायक रह चुके हैं। रशीद ने 2008 और 2014 में निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव जीता। इसके बावजूद, उन्होंने 2024 के लोकसभा चुनाव में बारामूला सीट से निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में जीत हासिल की, जिसमें उन्होंने नेशनल कॉन्फ्रेंस के उमर अब्दुल्ला को हराया। उनकी पार्टी, आवामी इत्तेहाद पार्टी, जम्मू-कश्मीर की राजनीति में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। इनपुट एजेंसियां