पाकिस्तान (Pakistan) जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकार को लेकर दुनियाभर भारत के खिलाफ बेबुनियाद आरोप और अफवाह फैला रहा है, लेकिन खुद के देश में अल्पसंख्यकों पर होते अत्याचार उसे दिखाई नहीं देते हैं। इमरान खान अपने देश में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा नहीं कर पा रहे हैं। ताजा मामला पाकिस्तान के सिंध प्रांत का है।
पाकिस्तान के सिंध प्रांत के एक स्कूल में अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय के प्रिंसिपल के खिलाफ कथित तौर पर ईशनिंदा (Blasphemy) का मामला दर्ज हुआ है। इसके बाद रविवार को प्रांत के कई इलाकों में दंगे भड़क गए। पाकिस्तान में ईशनिंदा सबसे बड़ा अपराध माना जाता है। खबरों के मुताबिक प्रदर्शनकारियों ने प्रिंसिपल के साथ मारपीट भी की। प्रदर्शनकारियों ने स्कूल और मंदिर में भी तोड़फोड़ की।
खबरों के अनुसार एक छात्र के पिता अब्दुल अजीज राजपूत की शिकायत पर सिंध पब्लिक स्कूल के प्रिंसिपल के खिलाफ प्राइमरी रिपोर्ट दर्ज की गई है। राजपूत का दावा है कि प्रिंसिपल ने इस्लाम को लेकर कथित तौर पर अपमानजनक टिप्पणी कर ईशनिंदा की।
खबरों के अनुसार प्रिंसिपल के खिलाफ केस दर्ज होने के बाद घोटकी जिले में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हुए। प्रदर्शनकारियों ने प्रिंसिपल की गिरफ्तारी की मांग की।
पाकिस्तान मानवाधिकार आयोग ने प्रदर्शनकारियों द्वारा स्कूल और मंदिर में तोड़फोड़ किए जाने से संबंधित एक वीडियो शेयर करते हुए स्थिति पर गंभीर चिंता जाहिर की है। मानवाधिकार संगठन ने एक ट्वीट में कहा कि 'घोटकी में ईशनिंदा के आरोपों की खबरें चिंताजनक है।
पाकिस्तान हिन्दू परिषद के प्रमुख और पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के नेता रमेश कुमार वांकवानी ने कहा कि प्रिंसिपल को सुरक्षा कारणों से किसी अज्ञात स्थान पर ले जाया गया है। उन्हें मामले की विस्तृत जांच के लिए हैदराबाद के डीआईजी नईम शेख के हवाले किया जाएगा। (एजेंसियां) (वीडियो फोटो)