इस्लामाबाद। पाकिस्तान सरकार ने हजयात्रा पर जाने वाले यात्रियों को दी जाने वाली मदद (सब्सिडी) को खत्म करने का फैसला किया है।
पाकिस्तान में पूर्ववर्ती पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज) सरकार के समय हजयात्रा पर जाने वाले यात्रियों को 45 हजार रुपए की मदद दी जाती थी। इमरान खान सरकार ने गुरुवार को मंत्रिमंडल की बैठक में हज नीति 2019 को मंजूरी देते हुए हज सब्सिडी समाप्त करने का निर्णय लिया।
'द न्यूज' की रिपोर्ट के अनुसार धार्मिक मामलों के मंत्रालय ने हजयात्रा पर जाने वाले प्रत्येक यात्री को 45 हजार रुपए की सब्सिडी देने का प्रस्ताव किया था किंतु सरकार ने हज नीति 2019 को स्वीकृत करते हुए सब्सिडी खत्म करने का फैसला किया। उत्तरी जोन के लिए हजयात्रा का व्यय प्रति यात्री 4,36,975 रुपए और दक्षिण जोन के लिए 4,27,975 रुपए आएगा।
पिछले साल की तुलना में हजयात्रा पर जाने वालों का खर्च 60 प्रतिशत से अधिक होगा। वर्ष 2018 में उत्तरी इलाकों के हजयात्री का खर्च 2 लाख 80 हजार रुपए और दक्षिण से जाने वाले का 2 लाख 70 हजार रुपए था। इसमें क्रमश: 64 और 63 प्रतिशत की बढ़ोतरी होगी।
धार्मिक मामलों के सचिव मुश्ताक अहमद ने शुक्रवार को कहा था कि सरकार की हज योजना परिवहन खर्च और रुपए के अवमूल्यन समेत अन्य कारणों से 1 लाख 56 हजार 975 रुपए बढ़ गया है। हाजी को 19,451 रुपए कुर्बानी के लिए अतिरिक्त देने होंगे तथा इस वर्ष पाकिस्तान से 1,84,210 लोग हजयात्रा पर जाएंगे। इसमें सऊदी अरब सरकार द्वारा मंजूर 5,000 का अतिरिक्त कोटा भी शामिल है।
हजयात्रा पर जाने के इच्छुक लोगों से 20 फरवरी तक आवेदन स्वीकार किए जाएंगे। कुल कोटे में से 60 प्रतिशत सरकार और शेष निजी ऑपरेटर आवंटित करेंगे।