लाहौर। पाकिस्तान के रेलमंत्री शेख राशिद ने शनिवार को दावा किया कि ऐतिहासिक करतारपुर गलियारा शुरू करने का विचार सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा का था और यह बात भारत को हमेशा आहत करती रहेगी। मंत्री का यह बयान उसकी सरकार के उस दावे के विपरीत है, जिसमें इस पहल को प्रधानमंत्री इमरान खान का विचार बताया गया था।
सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानकदेव के 550वें प्रकाश पर्व पर भारतीय सिख तीर्थयात्रियों को वीजा मुक्त यात्रा की सुविधा प्रदान करने के लिए 9 नवंबर को पाकिस्तान के प्रधानमंत्री खान ने करतारपुर गलियारे का उद्घाटन किया था।
गलियारे के उद्घाटन के दौरान खान ने एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि मुझे इस बात का कोई अंदाजा नहीं था कि यह स्थल इतना महत्त्व रखता है। मुझे एक साल पहले पता चला। मुझे खुशी है कि हम आपके लिए ऐसा कर सके। जनसभा में भारत के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू सहित 12,000 से अधिक लोग मौजूद थे।
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ सरकार ने दावा किया है कि करतारपुर कॉरिडोर प्रधानमंत्री खान की पहल थी। हालांकि पाकिस्तान के रेल मंत्री शेख राशिद, जो कि प्रधानमंत्री खान के करीबी माने जाते हैं, ने शनिवार को सरकार के दावे के विपरीत कहा कि गलियारे की शुरुआत का विचार सेना प्रमुख जनरल बाजवा था और यह दावा किया कि यह भारत को हमेशा आहत करेगा। उन्होंने कहा कि करतारपुर कॉरिडोर खोलकर जनरल बाजवा ने जो घाव दिया है, भारत उसे हमेशा याद करता रहेगा।
उन्होंने कहा कि जनरल बाजवा ने गलियारे को खोलकर भारत को जोरदार झटका दिया है। इस परियोजना के माध्यम से, पाकिस्तान ने शांति का एक नया माहौल बनाया है और खुद सिख समुदाय का प्यार हासिल किया है। गौरतलब है कि जनरल बाजवा किसी भी विवाद से बचने के लिए करतारपुर कॉरिडोर के उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं हुए थे।