दावोस। देश में 2017 में कुल संपत्ति के सृजन का 73 प्रतिशत हिस्सा केवल 1 प्रतिशत अमीर लोगों के हाथों में है। एक नए सर्वेक्षण से सोमवार को इस तथ्य का खुलासा किया गया, साथ ही सर्वेक्षण ने देश की आय में असामनता की चिंताजनक तस्वीर पेश की।
अंतरराष्ट्रीय राइट्स समूह ऑक्सफेम की ओर से यह सर्वेक्षण दावोस में आयोजित विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की शिखर बैठक शुरू होने से कुछ घंटे पहले जारी किया गया। इसमें कहा गया है कि 67 करोड़ भारतीयों की संपत्ति में सिर्फ 1 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
वैश्विक स्तर पर यह तस्वीर और भी चिंताजनक है। पिछले साल दुनियाभर में अर्जित की गई संपत्ति का 82 प्रतिशत केवल 1 प्रतिशत लोगों के पास है, वहीं 3.7 अरब लोगों की संपत्ति में कोई इजाफा नहीं हुआ जिसमें गरीब आबादी का आधा हिस्सा आता है।
ऑक्सफेम के वार्षिक सर्वेक्षण को महत्वपूर्ण माना जाता है और विश्व आर्थिक मंच की वार्षिक बैठक में इस पर विस्तार से चर्चा होती है, जहां बढ़ती आय और लिंग के आधार पर असमानता दुनियाभर के शीर्ष नेताओं के बीच प्रमुख बिंदु है।
सर्वेक्षण में बताया गया है कि देश की कुल संपत्ति का 58 प्रतिशत हिस्सा देश के 1 प्रतिशत अमीर लोगों के पास है, जो कि वैश्विक आंकड़े से भी अधिक है। वैश्विक स्तर पर 1 प्रतिशत अमीरों के पास कुल संपत्ति का 50 प्रतिशत हिस्सा है।
ऑक्सफेम इंडिया ने कहा कि 2017 के दौरान देश के 1 प्रतिशत अमीरों की संपत्ति बढ़कर 20.9 लाख करोड़ रुपए से अधिक हो गई है। 'रिवॉर्ड वर्क, नॉट वेल्थ' शीर्षक से जारी सर्वेक्षण पर ऑक्सफेम ने कहा कि कैसे वैश्विक अर्थव्यवस्था अमीरों को और अधिक धन एकत्र करने में सक्षम बनाती है और वहीं लाखों-करोड़ों लोग जिंदगी जीने के लिए मशक्कत कर रहे हैं। इस सर्वेक्षण में 10 देशों के 70,000 लोगों को शामिल किया गया है।
डब्ल्यूईएफ की बैठक में शामिल होने दावोस जा रहे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से ऑक्सफेम इंडिया ने आग्रह किया है कि भारत सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि देश की अर्थव्यवस्था सभी के लिए काम करती है, न कि सिर्फ चंद लोगों के लिए। उन्होंने सरकार से श्रम आधारित क्षेत्रों को प्रोत्साहित करके समावेशी वृद्धि को बढ़ावा देने, कृषि में निवेश करने और सामाजिक योजनाओं का प्रभावी तरह से क्रियान्वयन करने के लिए कहा है।
भारत के संबंध में इसमें कहा गया है कि पिछले साल 17 नए अरबपति बने हैं। इसी के साथ अरबपतियों की संख्या 101 हो गई है। 2017 में भारतीय अमीरों की संपत्ति 4.89 लाख करोड़ बढ़कर 20.7 लाख करोड़ हो गई है। यह 4.89 लाख करोड़ कई राज्यों के शिक्षा और स्वास्थ्य बजट का 85 प्रतिशत है। (भाषा)