बांग्लादेश में तख्तापलट के बीच राष्ट्रपति मोहम्मद शहाबुद्दीन ने मंगलवार को पूर्व प्रधानमंत्री एवं बंगलादेश नेशनलिस्ट पार्टी (BNP) की अध्यक्ष खालिदा जिया को नजरबंदी से रिहा करने का आदेश दिया गया। बीएनपी अध्यक्ष को नजरबंदी से रिहा कर दिया गया है और 1 जुलाई से 5 अगस्त के बीच गिरफ्तार किए गए कोटा प्रदर्शनकारियों को रिहा करने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गयी है।
स्थानीय अखबार द डेली स्टार ने अपनी रिपोर्ट के मुताबिक राष्ट्रपति ने संसद को भंग करने का निर्णय सशस्त्र बलों, राजनीतिक दलों और छात्र नेताओं के प्रमुखों के साथ चर्चा के बाद लिया है, जिसे 90 दिन के भीतर नये चुनाव कराने के पहले के कदम के रूप में देखा जा रहा है। जिया देश में सरकार विरोधी हिंसक प्रदर्शनों के बाद इस्तीफा देने और देश छोड़ने के लिए मजबूर की गईं पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की कट्टर प्रतिद्वंद्वी हैं।
भ्रष्टाचार के आरोपों में थीं गिरफ्तार : खालिदा जिया को भ्रष्टाचार के आरोपों में गिरफ्तार किया गया था। उन्हें 2018 में एक भ्रष्टाचार मामले में दोषी पाया गया, जिसमें उन पर आरोप था कि उन्होंने प्रधानमंत्री रहते हुए अनाथालय ट्रस्ट के लिए विदेशी दान के पैसे का दुरुपयोग किया। यह मामला जिया अनाथालय ट्रस्ट भ्रष्टाचार मामला' के नाम से जाना जाता है। आरोप था कि इस ट्रस्ट के लिए आवंटित फंड का इस्तेमाल गलत तरीके से किया गया था।
अदालत ने खालिदा जिया को इस मामले में दोषी मानते हुए जेल की सजा सुनाई। उनके बेटे तारिक रहमान और अन्य को भी इस मामले में दोषी ठहराया गया था। खालिदा जिया और उनके समर्थकों ने इस फैसले को राजनीति से प्रेरित बताया और कहा कि यह उन्हें राजनीति से बाहर करने का एक प्रयास है। इसके बावजूद, अदालत ने उन्हें जेल की सजा दी और वे जेल में रहीं। इनपुट भाषा