Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia
Advertiesment

दिल के हर गंभीर रोग में असरकारी है यह फल, क्या आपको पता है इसके अनमोल फायदे ?

हमें फॉलो करें दिल के हर गंभीर रोग में असरकारी है यह फल, क्या आपको पता है इसके अनमोल फायदे ?
नाशपाती के समान दिखनेवाले रूचिरा या एवोकाडो के बारे में लोगों को भ्रम है कि यह सब्जी की प्रजाति का है। लेकिन सच्चाई यह नहीं है। एवोकाडो फल की श्रेणी में ही आता है और स्वास्थ्य की दृष्टि से काफी फायदेमंद है। इस फल में प्रोटीन, रेशे, नियासिन, थाइमिन, राइबोफ्लेविन, फोलिक एसिड और जिंक जैसे तत्व प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं। 
 
एवोकाडो में काफी मात्रा में कैलोरी पाई जाती है, जो हृदय के रोगों से हमें बचाती है। इसमें कोलेस्ट्रोल की मात्रा बिल्कुल नहीं पाई जाती। आजकल युवाओं में अपने वजन को लेकर बहुत चिन्ता रहती है। इसके लिए 'एन एप्पलस ए डे...' वाली कहावत को बदल देना चाहिए। इसकी बजाय 'एवोकाडो ए डे...' कर दें तो अतिश्योक्ति नहीं होगी। 
 
इसमें पाई जाने वाली कैलोरी की अत्यधिक मात्रा बढ़ते बच्चों के लिए बहुत फायदेमंद है। लेकिन कैलोरी की मात्रा इसके अलग-अलग किस्मों में अलग-अलग मात्रा में होती है। जैसे कि फ्लोरिडा में पाए जाने वाले एवोकाडो में उसके गूदे का आधे से अधिक भाग कैलोरीयुक्त होता है, वहीं कैलीफोर्निया में पाए जाने वाले एवोकाडो में यह दो-तिहाई ही पाया जाता है। 
      
कैसे पहचानें पके एवोकाडो को -  जैसे ही एवोकाडो को तोड़ते हैं वह पकने लगता है। जब वह पकने के क्रम में होता है तो उसका बाहरी हिस्सा कुछ सख्त जरूर होता है, लेकिन वह पूरी तरह से कड़ा नहीं होता। अगर आप कुछ कच्चे एवोकाडो खरीदें तो उसे कमरे में ही तीन-चार दिनों के लिए छोड़ दें जब तक उसका ऊपरी हिस्सा मुलायम न हो जाए। अगर उसे जल्दी खाना है तो उसे पेपर में लपेटकर दो-तीन दिनों के लिए कमरे में ही रखें। 
 
एवोकाडो को खाने के लिए बीचों बीच चाकू से लम्बाई में काटें। इसके टुकड़ों को दोनों हाथों से पकड़ें यह आसानी से अलग हो जाएगा। अब इसके गूदे को चम्मच से निकालें और उसका आनन्द लें। बच्चों को खिलाने के लिए एवोकाडो के गूदे को मसलकर दें। स्वाद बढ़ाने के लिए आप इसमें टमाटर, प्याज और लहसुन भी डाल सकते हैं। बढ़ते बच्चे को एवोकाडो की सेंडविच बनाकर भी दे सकते हैं।

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

आपने ‘थाइम’ का नाम नहीं सुना होगा, लेकिन ‘इलाज’ में यह किसी ‘वरदान’ से कम नहीं