14th day of Ramadan 2020 : इंसानियत की पहचान है 14वां रोजा

Webdunia
प्रस्तुति : अजहर हाशमी
 
माशाअल्लाह! माहे-मुबारक रमजान का कारवां अब चौदहवें रोजे तक आ पहुंचा है। रोज़ादार के लिए वैसे तो हर रोजा खुशियों का खजाना है। मगफिरत के इस अशरे में चौदहवां रोजा जन्नत के दरवाजे पर सब्र की दस्तक है। अमूमन 'मझला रोज़ा' भी शुमार किया जाता है।
 
इस की अपनी फजीलत (महिमा) और अजमत (गरिमा) है। शरई (तरीके से रखा गया रोजा) जिसमें हर किसी की बुराई, बदगुमानी, बेईमानी, बेहयाई, बेअदबी से बचा जाता है) ईमान का निशान और इंसानियत की पहचान है। चौदहवें रोजे तक आते-आते रोज़ादार सब्र का आदी हो जाता है। इसलिए रोजा रोजादार के लिए जन्नत का फरियादी हो जाता है। हदीस की रोशनी में भी रोजा जन्नत के दरवाजे पर सब्र की दस्तक है।
 
मिसाल के तौर पर हदीसे-पाक यानी बुख़ारी शरीफ़ की जिल्द अव्वल (प्रथम खंड) के सफ़ह् नंबर दो सौ पैंतालिस (पृष्ठ संख्या-245) पर यह हदीस दर्ज हैं- 'मोहम्मद सल्ल. ने फरमाया कि जन्नत के आठ दरवाजे हैं, उनमें एक दरवाज़ा 'रय्यान' है, उसमें इससे वे ही जाएँगे जो रोजा रखते हैं।'
 
इसमें मसअला ये है कि जो ईमान की वजह से रोज़ा रखेगा सवाब (पुण्य) के लिए तो उसके सब गुनाह माफ़ कर दिए जाएँगे। जिसने बग़ैर किसी शरई मजबूरी के एक रोज़ा छोड़ दिया तो जमाने भर का रोजा उसकी क़ज़ा (क्षतिपूर्ति) नहीं हो सकता, अगरचे बाद में रख ले।
 
यहाँ यह समझना जरूरी है कि चौदहवें रोजे की आमद (आगमन) दरअसल मग़फ़िरत (मोक्ष) के अशरे (कालखंड) में है और मगफिरत के लिए कसरत से (बहुलता से) तौबा-ए-अस्तग़फ़ार (गुनाहों के लिए प्रायश्चित) की जाती है। रोजा (सही तरीके से) रखना अल्लाह (ईश्वर) के सामने सबूत रखता है। रोजा, परहेजगारी का एहतिमाम तो है ही जन्नत का इंतजाम भी है।

ALSO READ: 15th day of Ramadan 2020 : वादे की पाबंदी और अल्लाह की रजामंदी है यह रोजा

सम्बंधित जानकारी

Show comments
सभी देखें

ज़रूर पढ़ें

Shraddha Paksha 2024: पितृ पक्ष में यदि अनुचित जगह पर श्राद्ध कर्म किया तो उसका नहीं मिलेगा फल

गुजरात के 10 प्रमुख धार्मिक स्थलों पर जाना न भूलें

Sukra Gochar : शुक्र का तुला राशि में गोचर, 4 राशियों के जीवन में बढ़ जाएंगी सुख-सुविधाएं

Vastu Tips for Balcony: वास्तु के अनुसार कैसे सजाएं आप अपनी बालकनी

सितंबर 2024 : यह महीना क्या लाया है 12 राशियों के लिए, जानें Monthly Rashifal

सभी देखें

धर्म संसार

16 shradh paksha 2024: श्राद्ध पक्ष पितृपक्ष में महाभरणी का है खास महत्व, गया श्राद्ध का मिलता है फल

21 सितंबर 2024 : आपका जन्मदिन

21 सितंबर 2024, शनिवार के शुभ मुहूर्त

16 shradh paksha 2024: पितृ पक्ष का पांचवां दिन : जानिए चतुर्थी श्राद्ध तिथि पर क्या करें, क्या न करें

Sukra Gochar : शुक्र ने बनाया केंद्र त्रिकोण राजयोग, 6 राशियों को नौकरी में मिलेगा प्रमोशन

अगला लेख
More