वेबदुनिया डेस्क
पब्लिक स्पीकिंग एक कला है, जिसे अपनी जानकारी और ज्ञान के आधार पर विकसिक किया जा सकता है। पब्लिक स्पीकिंग में आपकी आवाज़ बहुत अहम भूमिका निभाती है। अच्छी बात यह है कि अगर आपकी आवाज़ इतनी प्रभावी नहीं है तो इसे लगातार प्रैक्टिस से बेहतर बनाया जा सकता है।
पब्लिक स्पीकिंग के लिए कुछ टिप्स :
अपने डायाफ्राम से सांस लीजिए- लंबी लंबी सांसें छोड़ने का लगातार अभ्यास कीजिए। पब्लिक स्पीकिंग के दौरान जब आप विराम लें तो पंक्चुएशन के लिए सांस लें। उदाहरण के लिए हर वाक्य के बाद सांस लें, चाहें आपको इसकी जरूरत हो या नहीं। पिच का इस्तेमाल- अक्सर आवाज़ की निचली पिच लोग ज्यादा सुनना पसंद करते हैं। हालांकि आप अपनी बात पर ज़ोर देने के लिए पिच को ऊपर नीचे कर सकते हैं, जिससे सुनने वाले आपसे जुड़े रहें। आवाज़ को मध्यम रखें- जो़र से बोलन कई बार सुनने वालों को परेशान कर देता है। पब्लिक स्पीकिंग के दौरान न इतनी जो़र से बोलें कि आपकी आवाज़ गूंजने लगे और न ही इनती धीरे बोलें कि सुनने वालों तक आपकी बात ही न पहुंच सके। जल्दी न करें- अक्सर जल्दी बोलने की कोशिश में शब्दों का उच्चारण गड़बड़ा जाता है और बोलने वाली की इम्प्रेशन खराब होती है। पब्लिक स्पीकिंग के दौरान जल्दबाजी न करें और आराम से अपनी बात कहें। अगर बोलते समय कहीं कोई शब्द याद नहीं आ रहा है तो अपना समय लें और हड़बड़ी न दिखाएं। स्पष्टता- बोलने में स्पष्टता आवश्यक है। साथ ही अपने संवाद को कलात्मक भी बनाएं। जैसे आपके लिप मूवमेंट, पॉज़, चेहरे के हावभाव पब्लिक स्पीकिंग को कलात्मकता प्रदान करते हैं।