कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शनिवार को घोषणा की है कि देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे राज्य के प्रवासी मजदूरों के परिवहन की संपूर्ण लागत का वहन राज्य सरकार करेगी और किसी भी प्रवासी मजदूर से कोई शुल्क नहीं लिया जाएगा।
बनर्जी ने ट्वीट किया, हमारे प्रवासी श्रमिकों के कठिन परिश्रम को सलाम करते हुए, मुझे पश्चिम बंगाल सरकार के निर्णय की घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि दूसरे राज्यों से प्रवासी कामगारों को विशेष ट्रेनों द्वारा लाए जाने का पूरा खर्च राज्य सरकार उठाएगी।
किसी भी प्रवासी से कोई शुल्क नहीं लिया जाएगा।उन्होंने कहा कि इस संबंध में राज्य के मुख्य सचिव राजीव सिन्हा द्वारा रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष विनोद कुमार यादव को एक संदेश भेजा गया है।
बनर्जी ने गुरुवार को कहा था कि उनकी सरकार ने देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे लोगों को वापस लाने के लिए 105 और ट्रेनों की व्यवस्था की है, जबकि विपक्षी दलों ने सरकार पर आरोप लगाया था कि राज्य सरकार की मंशा अन्य राज्यों में फंसे हुए मजदूरों और तीर्थयात्रियों को उनके घर तक पहुंचाने की नहीं है।
इन 105 ट्रेनों में से तीन शनिवार को नई दिल्ली, मुंबई और बेंगलुरु से रवाना होंगी। लॉकडाउन के दौरान फंसे हुए लोगों को उनके घर पहुंचाने के लिए ट्रेनों को चलाने की सरकार की यह कवायद 14 जून तक जारी रहेगी।(भाषा)