सरकार ने सार्वजनिक कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी की बिक्री के जरिए 2011-12 में 40000 करोड़ जुटाने का लक्ष्य रखा है जबकि मौजूदा वित्त वर्ष में वह अभी तक 22,144 करोड़ रुपए जुटा पाई है। वित्तमंत्री प्रणब मुखर्जी ने सोमवार को लोकसभा में आम बजट (2011-12) पेश करते हुए यह प्रस्ताव किया।
उन्होंने कहा कि मैं 2011-12 में 40,000 करोड़ रुपए जुटाते हुए विनिवेश की गति को बनाए रखना चाहता हूँ। सरकार ने पिछले बजट में भी इस मद से 40,000 करोड़ रुपए जुटाने का लक्ष्य रखा था। लेकिन वह छह कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी बेचकर 22,144 करोड़ रुपए ही जुटा पाई है। जिन कंपनियों में विनिवेश किया गया है उनमें सतलज जल विद्युत निगम, इंजीनियर्स इंडिया, कोल इंडिया, पावर ग्रिड, मैंगनीज ओर इंडिया तथा जहाजरानी निगम है।
उन्होंने कहा कि गैर कर राजस्व में अपेक्षा से अधिक राशि आने के कारण हमने मौजूदा साल के विनिवेश कार्यक्रम में कुछ बदलाव किया।
मुखर्जी ने कहा कि सरकार केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों (सीपीएसयू) में कम से कम 51 प्रतिशत स्वामित्व तथा प्रबंध नियंत्रण बनाए रखने को प्रतिबद्ध है। सरकार 2011-12 में आईओसी, पावर फिनांस कारपोरेशन, सेल, हिंदुस्तान कापर, राष्ट्रीय इस्पात निगम में हिस्सेदारी बेच सकती है। (भाषा)