विराट कोहली के लिए भारत को तीसरा क्रिकेट विश्व कप जिताना कितना मुश्किल या आसान?

Webdunia
गुरुवार, 16 मई 2019 (12:03 IST)
- विधांशु कुमार (खेल पत्रकार)
 
तारीख़ पांच जून 2019। ये वो दिन है जब भारतीय टीम वर्ल्ड कप 2019 का अपना सफ़र शुरू करेगी। पहला मैच दक्षिण अफ़्रीका के ख़िलाफ़ साउथैंप्टन में खेला जाएगा। भारतीय टीम के फै़ंस को सिवाए ट्रॉफ़ी के किसी चीज़ से ख़ुशी नहीं मिलेगी। टीम पर उनका ये भरोसा और जीत की बेक़रारी की वजह भी है- वो वजह जिसे दुनिया विराट कोहली के नाम से जानती है।
 
दुनिया के नंबर एक टेस्ट बैट्समैन, नंबर एक वनडे बैट्समैन और नंबर एक टी-20 बैट्समैन हैं विराट कोहली। उनकी ऐसी तारीफ़ इंग्लैंड के पूर्व कप्तान माइकल वॉन ने की जब भारत ने 2017 में इंग्लैंड के ख़िलाफ़ वनडे में 351 रनों का सफलतापूर्वक पीछा किया था।
 
अभी हाल ही में एक कार्यक्रम में इंग्लैंड के पूर्व ऑलराउंडर और 2019 आईसीसी वर्ल्ड कप के ब्रांड एंबैसेडर एंड्रयू फ्लिंटॉफ़ ने कहा कि विराट कोहली सचिन तेंदुलकर से भी बेहतर खिलाड़ी हैं, शायद ऑल टाइम बेस्ट!
 
इसी बेहतरीन खिलाड़ी और कप्तान पर करोड़ों फ़ैंस की उम्मीद टिकी है कि एक बार फिर वर्ल्ड कप भारत का होगा। लेकिन इन बुलंदियों पर पंहुचने के लिए विराट का सफ़र आसान नहीं रहा है।
 
ऐसी लागी लगन
विराट कोहली का जन्म दिल्ली के एक मध्यमवर्गीय परिवार में हुआ। पिता प्रेम कोहली का सपना था कि विराट एक बड़ा क्रिकेटर बनें और भारत के लिए खेलें। उन्होंने विराट का एडमिशन दिल्ली में कोच राजकुमार शर्मा की एकेडेमी में करवा दिया।
 
विराट की लगन और कोच की मेहनत उन्हें सफलता की सीढ़ियां चढ़ाती गई और वक़्त आने पर विराट को दिल्ली की रणजी टीम में भी जगह मिल गई। फिर कुछ ऐसा हुआ जिसने मानों रातों-रात विराट को एक युवा खिलाड़ी से एक परिपक्व क्रिकेटर बना दिया।
 
दिल्ली का रणजी मैच कर्नाटक के साथ खेला जा रहा था। दिल्ली की टीम की हालत ख़राब थी और मैच बचाना मुश्किल लग रहा था। विपक्षी टीम के 446 रन के जवाब में दिल्ली ने 5 विकेट खोकर 103 रन पर दिन खत्म किया। विराट 40 पर नॉट आउट खेल रहे थे। लेकिन घर पर हालात ठीक नहीं थे। दरअसल पिता प्रेम कोहली कुछ दिनों से बिस्तर पर थे और उस रात उनका निधन हो गया।
 
कोच राजकुमार शर्मा ने हमें 'विराट कोहली- द मेकिंग ऑफ़ ए चैंपियन' लिखते वक़्त इंटरव्यू में बताया कि वो ऑस्ट्रेलिया में थे जब उनके पास विराट का फ़ोन आया।
 
उन्होंने कहा, "फोन पर विराट रो रहा था। उसने बताया कि ऐसा हो गया है और उसे क्या करना चाहिए। मैंने पूछा तुम क्या चाहते हो तो उसने कहा वो खेलना चाहता है। मेरा जवाब था ऐसा ही करो। कुछ घंटों बाद विराट का फिर फ़ोन आया और वो फिर रो रहा था। उसने कहा कि अंपायर ने उसे ग़लत आउट दे दिया है।"
 
विराट ने दिल्ली के विकेटकीपर-बल्लेबाज़ पुनीत बिष्ट के साथ बड़ी साझेदारी निभाई और दिल्ली को मुश्किल स्थिति से निकाल दिया। वो भी उस सुबह जब बीती रात उनके पिता, मेंटर और गाइड नहीं रहे थे।
 
रन चेज़ का देवता
विराट को भारतीय अंडर-19 टीम की कप्तानी मिली और उन्होंने इस टीम के साथ अंडर-19 विश्व कप भी जीता। भारतीय टीम में उनकी एंट्री भी ज़्यादा दिनों तक नहीं रोकी जा सकती थी। 2008 में उन्होंने श्रीलंका के ख़िलाफ़ डेब्यू किया। कोहली ने अपनी पहली सिरीज़ में अर्धशतक लगाया और शानदार अंतरराष्ट्रीय करियर का आगाज़ किया।
 
वनडे मैचों में विराट ने एक के बाद एक रिकॉर्ड बनाना शुरू कर दिया। ख़ासकर लक्ष्य का पीछा करते हुए उनका कोई सानी न था। चेज़ करते हुए कोहली ने 84 मैचों में 21 शतक लगाए हैं और 5000 से ज़्यादा रन बनाए है। विराट ने इनमें से 18 बार भारत के लिए मैच जिताऊ शतक जड़े हैं।
 
वनडे क्रिकेट में शायद ही कोई ऐसा खिलाड़ी होगा जिसका लक्ष्य का पीछा करते हुए रिकॉर्ड विराट कोहली से बेहतर हो। विराट कोहली जिस तेज़ी से रन बना रहे हैं उससे एक्सपर्ट्स कहने लगे हैं कि जब वो रिटायर होंगे तब बैटिंग के सर्वाधिक रिकॉर्ड्स इनके नाम ही होंगे।
 
ख़ासकर जिस अंदाज़ में वो शतक बनाते हैं वो अद्वितीय है। उन्होंने 49 अर्धशतक और 41 शतक लगाया है, जो दर्शाता है कि विकेट पर खड़ा रहना उन्हें कितना पसंद है और लगभग हर दूसरे पचास को वो सौ में बदल देते हैं।
 
तीसरा मौक़ा
विराट कोहली के लिए ये तीसरा वर्ल्ड कप होगा। पहली बार वो 2011 में विश्व कप खेले और 21 साल की उम्र में वर्ल्ड चैंपियन भी बन गए।
 
बांग्लादेश के विरुद्ध उन्होंने शतक लगाया और वीरेंद्र सहवाग के साथ 200 रनों की पार्टनरशिप की। वहीं, श्रीलंका के ख़िलाफ़ फ़ाइनल में धोनी का वो हेलीकॉप्टर शॉट या गौतम गंभीर की शानदार पारी सबको याद होगी ही। लेकिन इसी पारी में कोहली ने गंभीर के साथ बहुमूल्य 85 रनों की साझेदारी निभाई जो इस मैच में और भारत की जीत में बेहद अहम रहा था।
 
2015 का वर्ल्ड कप ऑस्ट्रेलिया और न्यूज़ीलैंड में खेला गया। इस टूर्नामेंट में पाकिस्तान के ख़िलाफ़ कोहली ने 126 बॉल पर 107 रन बनाए। भारत ने ये मैच 76 रनों से जीता।
 
कोहली ने इस टूर्नामेंट में कई और अहम पारियां खेलीं जिनकी मदद से भारत अपने ग्रुप में टॉप पर रहा। हालांकि ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ सेमीफ़ाइनल में कोहली सिर्फ़ 1 रन पर आउट हो गए और ये मैच भारत ने गंवा दिया। इंग्लैड का विश्व कप कोहली का तीसरा वर्ल्ड कप होगा। कोहली पिछले कुछ साल से ज़बरदस्त फ़ॉर्म में हैं और उनके बल्ले से शतकों की बौछार सी लगी हुई है।
 
एक्सपर्ट्स मानते हैं कि वो अपने करियर के शीर्ष पर हैं। भारतीय टीम भी एक नपी-तुली टीम नज़र आ रही है जिसमें अनुभव और युवा शक्ति का बेहतरीन मिश्रण है। टीम में महेंद्र सिंह धोनी भी हैं जो शायद अपना आख़िरी वर्ल्ड कप खेल रहे हैं। क्या कोहली की टीम आईसीसी वर्ल्ड कप 2019 जीत पाएगी? फ़ैंस की मानें तो यह वर्ल्ड कप कोहली और इंडिया का ही है।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

Operation Sindoor के दौरान POK पर कब्जा क्यों नहीं किया, प्रधानमंत्री मोदी से किसने किया यह सवाल

कर्नाटक में 18 भाजपा विधायकों का निलंबन हुआ रद्द, विधानसभा अध्यक्ष खादर ने दी यह नसीहत

हिंदू मजबूत होंगे तभी दुनिया में... RSS प्रमुख मोहन भागवत ने क्यों कहा ऐसा

भारत बना दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था, जापान को पछाड़ा, प्रति व्यक्ति आय में हुई बढ़ोतरी

पहलगाम हमले पर भाजपा सांसद जांगड़ा के बयान पर बवाल, क्या है कांग्रेस की मोदी से मांग

सभी देखें

मोबाइल मेनिया

Samsung Galaxy S25 Edge की मैन्यूफैक्चरिंग अब भारत में ही

iQOO Neo 10 Pro+ : दमदार बैटरी वाला स्मार्टफोन, जानिए क्या है Price और Specifications

itel A90 : 7000 रुपए से भी कम कीमत में लॉन्च हुआ iPhone जैसा दिखने वाला स्मार्टफोन

सिर्फ एक फोटो से हैक हो सकता है बैंक अकाउंट, जानिए क्या है ये नया व्हाट्सएप इमेज स्कैम

Motorola Edge 60 Pro : 6000mAh बैटरी वाला तगड़ा 5G फोन, जानिए भारत में क्या है कीमत

अगला लेख