जनवरी माह में अमेरिका, तुर्की, अफगानिस्तान, दक्षिण अफ्रीका, रूस जैसे देशों में अशांति रहेगी। पाकिस्तान, भूटान, बांग्लादेश, म्यांमार, ईरान में आपसी मतभेद रहेंगे व आंतरिक झगड़े होंगे। भारत, श्रीलंका, नेपाल, दुबई, इंग्लैंड में राजनीतिक अशांति के साथ शासक को परेशानी आएगी। आतंक पर विश्व में खत्म करने का निर्णय सामने आएगा। किसी बड़े राजनेता को कष्ट आएगा। भारत में जनवरी माह बालकों के लिए कष्ट वाला रहेगा।
इस माह की कुंडली को बादल चाल की नजर से देखा जाए तो विश्व में प्राकृतिक प्रकोप की आशंका है, विशेषकर भारत के उत्तर के प्रांतों में ये विपदाएं आ सकती हैं। पहाड़ी क्षेत्रों में तापमान बहुत कम रहेगा व शीतलहर का प्रकोप बढ़ेगा। मैदानी भागों में तापमान सुबह-शाम कम रहेगा व दोपहर में अधिक रहेगा।
6 जनवरी को बुध के धनु में आने से रुई, कपास, वस्त्र, सूत व चांदी में मंदी होगी। 7 जनवरी से शनि के पूर्वोदय में होने से रुई, अलसी, सरसों व मूंगफली में मंदी रहेगी। लोहा, सीसा, जस्ता, घास, लकड़ी, लहसुन, चावल व गुड़-शकर में तेजी रहेगी। 11 जनवरी से सूर्य के उत्तराषाढ़ा नक्षत्र में आने से उड़द, मूंग, चावल, चना, गेहूं, गुड़, सरसों, कपास व शकर में तेजी रहेगी।
14 जनवरी को सूर्य के मकर राशि में आने से घी, तेल, अलसी, गुड़, शकर, रुई में तेजी एवं गेहूं व अन्य अनाजों में मंदी आएगी। 18 जनवरी को चन्द्र दर्शन होने से रुई, सूत, रेशमी, ऊनी, वस्त्र, सरसों, तेल व घी में तेजी रहेगी एवं सोना-चांदी व शकर-गुड़ में मंदी आएगी।
24 जनवरी को सूर्य श्रवण नक्षत्र में प्रवेश करेगा जिसके फलस्वरूप गेहूं, जौ, चावल, रुई, सूत, सोना-चांदी, गुड़-शकर, अलसी, सुपारी, लौंग व पीपल में तेजी रहेगी। 27 जनवरी को बुध मकर राशि में आएगा जिससे रुई व सोना-चांदी में तेजी एवं सभी अनाजों के भाव मध्यम रहेंगे।
31 जनवरी को शुक्र धनिष्ठा नक्षत्र में रहेगा। इससे चावल, मूंग, मोठ, उड़द, जुवार, बाजरा, चांदी-सोना, रुई व कपास में तेजी और गेहूं में मंदी रहेगी।