इपोह। भारत ने मेजबान मलेशिया से मिली हार के सदमे से उबरते हुए शानदार प्रदर्शन कर न्यूजीलैंड को शनिवार को 4-0 से हराकर सुल्तान अजलान शाह हॉकी टूर्नामेंट में कांस्य पदक हासिल कर लिया।
भारत पिछले संस्करण में उपविजेता रहा था और उसे रजत मिला था, लेकिन इस बार मलेशिया से अंतिम लीग मैच में 0-1 से हारने के कारण भारत को तीसरे स्थान के लिए खेलने पर मजबूर होना पड़ा। तीसरे स्थान के मुकाबले में भारत ने न्यूजीलैंड के खिलाफ बेहतर खेल दिखाया और अपना कुछ सम्मान बचा लिया। मेजबान मलेशिया ने जापान को 3-1 से पराजित कर पांचवां स्थान हासिल किया। जापान की टीम छठे और आखिरी स्थान पर रही।
भारत की जीत में ड्रैग फ्लिकर रूपिंदर पाल सिंह ने 17वें और 27वें मिनट में दो गोल किए जबकि एसवी सुनील ने 48वें तथा तलविंदर सिंह ने 60वें मिनट में गोल किए। भारत ने लीग मैच में भी न्यूजीलैंड को 3-0 से हराया था
कांस्य पदक के लिए हुए मुकाबले में भारत को शुरुआत में लगातार दो पेनल्टी कार्नर मिले लेकिन भारत इनका फायदा नहीं उठा पाया। इसके बाद मनदीप के रिवर्स शॉट को कीवी गोलकीपर रिचर्ड जाएस ने बचा लिया। मैच में कप्तानी कर रहे मनप्रीत सिंह की अगुवाई में भारतीय डिफेंडरों ने लगातार अपने किले को बचाए रखा और न्यूजीलैंड के सैम लेन के शॉट को भारतीय गोलकीपर आकाश चिक्ते ने बचा लिया।
मनप्रीत के एक बेहतरीन क्रास पर मनदीप सिंह ने सुनहरा मौका गंवाया और पहला क्वार्टर गोल रहित बराबरी पर रहा। भारत को दूसरे क्वार्टर में मैच का तीसरा पेनल्टी कार्नर मिला और ड्रैग फ्लिकर रूपिंदर पाल सिंह ने इसका पूरा फायदा उठाते हुए जमीन से चिपका शॉट लगाया जो गोलकीपर को परास्त कर गया।
रूपिंदर ने पिछले मैच में मलेशिया के खिलाफ तीन पेनल्टी कार्नर बेकार किए थे लेकिन यहां उनके शॉट में वही तेजी दिखाई दी जिसके लिए वह जाने जाते हैं। दूसरा क्वार्टर समाप्त होने से कुछ मिनट पहले भारत को एक और पेनल्टी कार्नर मिला और इस बार रूपिंदर की फ्लिक फिर निशाने पर थी और भारत 2-0 से आगे हो गया।
तीसरे क्वार्टर में भारतीयों ने बढ़त बनाने के अपने प्रयास जारी रखे। न्यूजीलैंड ने भी काफी कोशिश की लेकिन भारतीय डिफेंस ने मुस्तैदी के साथ उसके हमलों को नाकाम कर दिया। तीसरा क्वार्टर समाप्त होने तक भारत की दो गोल की बढ़त कायम थी।
चौथे क्वार्टर में मनदीप के पास को एसवी सुनील ने डिफ्लेक्ट कर गोल की दिशा दिखा दी। सुनील का टूर्नामेंट का यह पहला गोल था और भारत ने 3-0 की बढ़त बना दी। सुनील ने इसके साथ ही खुद को अपने जन्मदिन का बेहतरीन तोहफा भी दे दिया।
मनप्रीत ने भारत का चौथा गोल कर ही दिया था लेकिन न्यूजीलैंड के रेफरल पर इस गोल को खारिज कर दिया गया। मैच समाप्त होने से कुछ सेकंड पहले ही तलविंदर सिंह ने रिवर्स हिट पर भारत का चौथा गोल दाग दिया और इसके साथ ही कांस्य पदक भारत की झोली में आ गया। (वार्ता)