नई दिल्ली। एशिया कप फतह करने वाली भारतीय हॉकी टीम के मुख्य कोच शूअर्ड मारिन के मुताबिक टीम में अभी निरंतरता की कमी है और शीर्ष टीमों की बराबरी के लिए खिलाड़ियों को इस पर काम करना होगा।
उन्होंने कहा, ‘मैं बहुत खुश हूं क्योंकि भारतीय टीम के कोच के तौर पर यह मेरा पहला टूर्नामेंट था। हमने अच्छी हॉकी खेला। मैं खिलाड़ी और प्रशंसकों के लिए भी ऐसी शुरुआत से खुश हूं।’
मारिन को लगता है टीम में अभी भी स्थिरता की जरूरत है। उन्होंने कहा, ‘टीम में सामंजस्य की कमी है जो मलेशिया के खिलाफ फाइनल मैच में भी दिखा। हमें और अधिक गोल करने चाहिए थे लेकिन चौथे क्वार्टर में हमारे प्रदर्शन का स्तर काफी नीचे गिर गया, जिससे मलेशिया को वापसी का मौका मिल गया।’
उन्होंने कहा, ‘हमने काफी अच्छी आक्रामक हॉकी खेली और कुछ अच्छे मैदानी गोल भी किए, लेकिन टीम निरंतर एक जैसा प्रदर्शन नहीं कर पाई।’ ओलंपिक में आठ बार की चैम्पियन भारत ने एशिया कप में आक्रामक खेल के दम पर कुल 21 मैदानी गोल किए।
पिछले महीने रोलेन्ट ओल्टमैन्स की जगह कोच बने मारिन को उम्मीद है कि अगर भारतीय टीम ऐसे ही आक्रामक हॉकी खेलती रही तो आने वाले टूर्नामेंटों में वह खतरनाक साबित हो सकती है।
उन्होंने कप्तान मनप्रीत सिंह की नेतृत्व क्षमता की तारीफ करते हुए कहा, ‘उनका नेतृत्व कमाल का था। मैच के आखिरी सात मिनटों में उन्होंने रक्षापंक्ति को मतबूत करने की जिम्मेदारी खुद उठाई। यह ऐसी चीज है जो खिलाड़ियों से उम्मीद की जाती है।’ (भाषा)