मुंबई। बैंकिंग, तेल और एफएमसीजी शेयरों में सोमवार को हुई जोरदार लिवाली के दम पर घरेलू शेयर बाजारों के दोनों मानक सूचकांक में 2 दिन के अंतराल के बाद तेजी लौट आई। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों करीब 1 प्रतिशत चढ़ गए। बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 468.38 अंक यानी 0.76 प्रतिशत चढ़कर 61,806.19 अंक पर बंद हुआ।
कारोबार के दौरान एक समय यह 507.11 अंक तक उछल गया था। इसी तरह नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के निफ्टी में भी 151.45 अंक यानी 0.83 प्रतिशत की बढ़त रही और यह 18,420.45 अंक पर बंद हुआ। इस तरह शेयर बाजारों में लगातार 2 कारोबारी सत्रों की गिरावट के बाद तेजी लौटी है। पिछले सप्ताह के अंतिम 2 कारोबारी दिनों में सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में 2 प्रतिशत से अधिक की गिरावट दर्ज की गई थी।
सेंसेक्स में शामिल कुल 30 में से 24 शेयर बढ़त के साथ बंद हुए। इनमें महिंद्रा एंड महिंद्रा, पॉवरग्रिड, भारती एयरटेल, बजाज फिनसर्व, एचडीएफसी, हिंदुस्तान यूनिलीवर, मारुति सुजुकी, आईटीसी, टाइटन, नेस्ले, बजाज फाइनेंस और रिलायंस इंडस्ट्रीज प्रमुख हैं, वहीं टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज, इन्फोसिस, टाटा मोटर्स और इंडसइंड बैंक के शेयरों को नुकसान उठाना पड़ा।
जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा कि बाजार में रही चौतरफा तेजी के बीच सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) कंपनियों के शेयरों में गिरावट का रुख बना रहा। वैश्विक स्तर पर मंदी आने की आशंका गहराने और कुछ एशियाई देशों में कोरोनावायरस के मामले दोबारा बढ़ने से आईटी क्षेत्र के लिए नकारात्मक धारणा बनी हुई है।
एशिया के अन्य बाजारों में दक्षिण कोरिया के कॉस्पी, जापान के निक्की, चीन के शंघाई कम्पोजिट और हांगकांग के हैंगसेंग में गिरावट रही। कोटक सिक्योरिटीज लिमिटेड के इक्विटी शोध (खुदरा) प्रमुख श्रीकांत चौहान ने कहा कि एशिया के अन्य बाजारों में गिरावट के बावजूद घरेलू सूचकांक यूरोपीय बाजारों के अच्छे प्रदर्शन की वजह से वापसी करने में सफल रहे। हालांकि आने वाले साल में भी ब्याज दर में वृद्धि जारी रहने के फेडरल रिजर्व के संकेतों से निवेशकों में अब भी भरोसे की कमी दिख रही है।
इसके बावजूद लिवाली का जोर रहने से व्यापक बाजार में बीएसई मिडकैप 0.67 प्रतिशत और स्मॉलकैप 0.29 प्रतिशत चढ़ गया। यूरोप के शेयर बाजारों में दोपहर के सत्र में बढ़त देखी गई। अमेरिकी बाजार शुक्रवार को नुकसान में रहे थे।
इस बीच अंतरराष्ट्रीय तेल मानक ब्रेंट क्रूड 1.15 प्रतिशत बढ़कर 79.95 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया। विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने गत शुक्रवार को भारतीय बाजारों से निकासी की थी। उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक एफआईआई ने 1,975.44 करोड़ रुपए मूल्य के शेयर बेचे थे।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta