पटना। बिहार के मुख्यमंत्री एवं जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के शीर्ष नेता नीतीश कुमार ने जदयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा के अलग से बैठक बुलाए जाने के लिए लिखे गए पत्र को लेकर भाजपा पर परोक्ष रूप से निशाना साधा और कहा कि कुशवाहा किसी और के इशारे पर बोल रहे हैं इसलिए उनका इतना प्रचार हो रहा है।
कुमार ने सोमवार को 'समाधान यात्रा' के क्रम में बांका जिले में अलग-अलग विभागों के तहत चल रहीं विकास योजनाओं का जायजा लेने के बाद बातचीत के दौरान कुशवाहा के अलग से बैठक बुलाए जाने के सवाल पर कहा कि इन सब चीजों पर ध्यान नहीं देने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि हमने उस आदमी को कितना आगे बढ़ाया। विधायक बनाया, फिर विधानसभा में अपनी पार्टी का नेता भी बनाया, उसके बाद भी वे पार्टी छोड़कर भाग गए। फिर साथ आए तो हमने उन्हें राज्यसभा का सदस्य बना दिया। उसके बाद वे फिर से पार्टी छोड़कर चले गए। इस बार तीसरी बार वे पार्टी में आए तो कहें कि 'हम हर हाल में पार्टी में रहेंगे।'
मुख्यमंत्री ने कहा कि आजकल वे (कुशवाहा) क्या से क्या बोलने लगे हैं? सुबह में जब वे अखबार पढ़ते हैं तो इस तरह की खबर देखते हैं। इसका क्या मतलब है? वे पार्टी में क्यों आए? वे आए तो उन्होंने उन्हें इज्जत दी। उन्हें यदि कोई समस्या थी तो वे उनसे बात करते लेकिन उन्होंने बात ही नहीं की। उनके (नीतीश) समझाने पर पार्टी के लोग उनको लेकर सहमत हो गए थे।
उन्होंने कहा कि वे उनको हमेशा इज्जत देते रहे हैं। उन्हें अब अचानक क्या हो गया है, उन्हें पता नहीं। 2 महीने के अंदर ही यह सब शुरू हुआ है। इसको लेकर वे अब रोज बोल रहे हैं। किसी और के इशारे पर वे बोल रहे हैं इसलिए उनका इतना प्रचार हो रहा है। उनकी पार्टी के कोई लोग बोलते हैं तो उसका उतना प्रचार नहीं होता है। उनकी जो इच्छा है वे करें। दो बार वे पहले भी पार्टी छोड़कर जा चुके हैं। तीसरी बार उन्होंने उन्हें स्वीकार किया।
कुमार ने यह सब भाजपा की तरफ से कराए जाने के सवाल पर कहा कि सभी का इतना प्रचार नहीं होता है जितना उनका प्रचार हो रहा है। जब किसी का प्रचार हो तो समझ जाइए कि कहां से प्रचार करवाया जा रहा है? कौन इसके लिए उन्हें मौका दे रहा है? हम लोगों की पार्टी के अध्यक्ष ने सभी बातें कह दी हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने भी सबको कह दिए हैं कि किसी को कुछ बोलने की जरूरत नहीं है। उन्हें जो इच्छा हो वो बोलते रहें, हमें इससे कोई मतलब नहीं है। इस बार पिछली बार से ज्यादा लोग पार्टी के सदस्य बने हैं। हम लोगों के इधर आने के फैसले के वक्त सभी लोग एकसाथ ही थे। अब उन्हें क्या हो गया है, मुझे पता नहीं। जो जाना चाहे, उन्हें जाने दीजिए। इससे पार्टी को कुछ नहीं होने वाला है।(वार्ता)
Edited by: Ravindra Gupta