लखनऊ। उत्तर प्रदेश की एक लोकसभा और 2 विधानसभा सीटों के उपचुनाव के लिए सोमवार दोपहर एक बजे तक मैनपुरी संसदीय सीट में करीब 31.64 प्रतिशत, खतौली में करीब 33.20 और रामपुर में लगभग 19.01 फीसदी मत पड़े।वहीं बिहार विधानसभा की कुढनी सीट पर उपचुनाव के लिए दोपहर एक बजे तक 37 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का उपयोग किया।
इन उपचुनावों में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी (सपा) एवं राष्ट्रीय लोक दल (रालोद) के गठबंधन के बीच सीधा मुकाबला है। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और कांग्रेस ने इन उपचुनाव में अपने उम्मीदवार नहीं उतारे।
राज्य निर्वाचन कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक दोपहर एक बजे तक मैनपुरी लोकसभा क्षेत्र में औसतन 31.64 प्रतिशत, खतौली में औसतन 33.20 प्रतिशत तथा रामपुर में 19.01 प्रतिशत मत पड़े हैं। उपचुनाव के लिए मतदान सुबह सात बजे शुरू हुआ था जो शाम 6 बजे तक जारी रहेगा। परिणामों की घोषणा आगामी 8 दिसंबर को की जाएगी।
बिहार उपचुनाव में दोपहर 1 बजे तक 37 फीसदी मतदान : बिहार विधानसभा की कुढनी सीट पर उपचुनाव के लिए सोमवार अपराह्न एक बजे तक 37 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का उपयोग किया। निर्वाचन कार्यालय ने बताया कि इस सीट पर चुनाव सुबह सात बजे शुरू हुआ था और अपराह्न एक बजे तक 37 प्रतिशत मतदाताओं ने वोट डाले।
कुढनी विधानसभा सीट मुजफ्फरपुर जिले के अंतर्गत आती है। जिले की निर्वाचन शाखा से प्राप्त जानकारी के अनुसार, मतदान कड़ी सुरक्षा के बीच सोमवार सुबह सात बजे प्रारंभ हो गया और यह शाम छह बजे तक जारी रहेगा।
निष्पक्ष, शांतिपूर्ण और सुचारू मतदान संपन्न कराने के लिए सभी 320 मतदान केंद्रो पर अर्द्धसैनिक बलों की तैनाती किए जाने के साथ प्रयाप्त संख्या में ईवीएम और वीवीपैट की व्यवस्था की गई है। कुढनी सीट के इस उपचुनाव में कुल 13 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं, जिनमें पांच निर्दलीय प्रत्याशी हैं। उनके भाग्य का फैसला 3,11,728 मतदाता अपने मताधिकार का उपयोग कर करेंगे।
इस उपचुनाव में मुख्य रूप से मुकाबला प्रदेश के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड के उम्मीदवार मनोज सिंह कुशवाहा और विपक्षी पार्टी भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी केदार गुप्ता के बीच माना जा रहा है। 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव में भाजपा के गुप्ता राष्टीय जनता दल के अनिल कुमार सहनी से केवल 700 से अधिक मतों से हार गए थे।
इस सीट पर उपचुनाव सहनी की अयोग्यता के बाद जरूरी हो गया था, जिन्हें धोखाधड़ी के एक मामले में दोषी ठहराया गया है और तीन साल की जेल की सजा सुनाई गई है।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)