नीमच में सूदखोर के आंतक से प्रताडित होकर एक नौजवान ने सल्फास खाकर आत्महत्या करने की कोशिश की, जिसे गंभीर हालत में जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। युवक की नाजुक हालत को देखते हुए उसे उदयपुर रैफर किया गया है। गौरतलब है कि 12 जनवरी को ऐसे ही सूदखोरों से प्रताड़ित होकर नीमच में एक किसान ने अपना वीडियो बनाकर आत्महत्या कर ली थी।
इस संबंध में जानकारी देते हुए बघाना थाना प्रभारी वीडी जोशी ने बताया की सोमवार सुबह बघाना निवासी चेतन शर्मा पिता कमल शर्मा उम्र तीस साल ने सल्फास खाकर आत्महत्या करने का प्रयास किया, जिसे गंभीर हालत में जिला अस्पताल लाया गया। उसके पास से पुलिस को सल्फास की डिब्बी भी मिली। पीड़ित ने पुलिस को बताया की उसने शरीफ कुरैशी नामक व्यक्ति से दो लाख रुपए लिए थे, जो इससे 25 प्रतिशत ब्याज ले रहा था। पुलिस ने पीड़ित के बयान दर्ज कर लिए है।
जांच के बाद आरोपी सूदखोर के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। चेतन शर्मा ने अस्पताल बताया कि उसने सूदखोर शरीफ कुरैशी से दो लाख रुपए का कर्जा लिया था, जो उसने लौटा दिया, लेकिन सूदखोर ने 25 प्रतिशत मासिक ब्याज दर से दो लाख का कर्जा दस लाख कर दिया और खाली चेक में यह राशि भर दी।
चेतन ने यह भी कहा कि सूदखोर मुझे रोज धमकाता रहा और कहता रहा पुलिस मेरा कुछ नही बिगाड़ सकती मैं तेरे परिवार को खत्म कर दूंगा। गंभीर अवस्था में जिला अस्पताल लाए गए चेतन की मां श्रीमती सुनिता शर्मा ने कहा कि सूदखोर ने पूरे परिवार को दहशत में डाल रखा था।
बच्चों को जान से मारने की धमकी देता था। मेरे बेटे ने उसकी प्रताड़ना के चलते आत्महत्या की कोशिश की। बीती 12 जनवरी को भी पांच सूदखोरों की प्रताड़ना के चलते एक किसान वीरेंद्र पाटीदार ने नीमच में आत्महत्या कर ली थी। आत्महत्या से पहले उसने पांचों सूदखोरों के नाम लिए थे।
नीमच के आरटीआई कार्यकर्ता अमित शर्मा कहते हैं कि सरकार अपनी योजनाओ के लाख ढिंढोरे पीटे, लेकिन जमीन पर हालात बेहद बुरे हैं। बेरोजगारी और जिंसों के भाव गिराने के कारण किसान कंगाल है। इसलिए वह सूदखोरों के जाल में फंसा हुआ है।