साल 2017 में हुए उपचुनाव में मिली जीत को कांग्रेस इस बार बरकरार रखना चाहेगी, इसी आस में उसने मौजूदा सांसद पर ही दांव लगाया है, तो भाजपा बॉलीवुड सितारे के सहारे कमल खिलाना चाहती है, लेकिन आप ने अपना प्रत्याशी पेश कर चुनाव दिलचस्प बना दिया है। लोकसभा चुनाव 2014 में यहां से भाजपा के विनोद खन्ना विजयी हुए थे।
परिचय : पंजाब का लोकप्रिय शहर है गुरदासपुर, जो कि ऐतिहासिक स्थलों से भरा हुआ है। इसे गुरु नानकदेवजी की ससुराल भी कहा जाता है। बंदा बैरागी ने यहां मुगलों का डटकर मुकाबला किया था। भारत-पाकिस्तान सीमा से सटे इस शहर की स्थापना 17वीं सदी में हुई थी।
जनसंख्या : जनगणना 2011 के अनुसार गुरदासपुर जिले की कुल जनसंख्या 22 लाख 98 हजार 323 है।
अर्थव्यवस्था : यहां शहरी क्षेत्र में ज्यादातर लोग कारोबार करते हैं, वहीं दूसरी ओर ग्रामीण क्षेत्र की अर्थव्यवस्था मुख्य रूप से कृषि पर आधारित है। इसके अलावा कुछ लोग पशुपालन से भी जुड़े हुए हैं।
मतदाताओं की संख्या : लोकसभा चुनाव 2014 के मुताबिक यहां के संसदीय क्षेत्र में मतदाताओं की कुल संख्या 15 लाख 337 है, जिसमें 7 लाख 84 हजार 477 पुरुष और 7 लाख 15 हजार 860 महिलाएं हैं।
भौगोलिक स्थिति : रावी और सतलज नदियों के बीच बसा यह शहर पश्चिमोत्तर पंजाब, भारत-पाकिस्तान की सीमा पर अमृतसर-पठानकोट, जम्मू राजमार्ग पर स्थित होकर पहाड़ों की तराई इलाके तक फैला हुआ है।
16वीं लोकसभा में स्थिति : लोकसभा चुनाव 2014 में भाजपा के विनोद खन्ना यहां विजयी रहे थे, लेकिन 2017 में उनके निधन के बाद हुए उपचुनाव में कांग्रेस के सुनील जाखड़ ने भाजपा के स्वर्ण सलारिया को पराजित कर यह सीट छीन ली। विनोद खन्ना इस संसदीय सीट से 4 बार सांसद रहे। इस सीट से कांग्रेस की सुखबंस कौर सर्वाधिक 5 बार सांसद रह चुकी हैं।