मंगलवार (28 फरवरी) को न्यूज़ीलैंड ने इंग्लैंड के खिलाफ एक रन से जीत कर एक नया इतिहास रचा है। वेलिंगटन में न्यूज़ीलैंड और इंग्लैंड के बीच खेले जाने वाले दूसरे टेस्ट में न्यूज़ीलैंड इंग्लैंड को एक रन से हराकर इस प्रकार फॉलो ऑन के बाद टेस्ट मैच जीतने वाली तीसरी टीम बन गई। इंग्लैंड (1894 और 1981) और भारत (2001) अन्य दो टीमें हैं जिन्होंने खेल के इस प्रारूप में यह उपलब्धि दर्ज की है।
बे ओवल में होने वाले पहले टेस्ट मैच में इंग्लैंड ने न्यूज़ीलैंड को 267 रनों से हराया था। दूसरे टेस्ट में न्यूज़ीलैंड ने टॉस जीत कर पहले फील्डिंग करने का फैंसला किया। इंग्लैंड ने अपनी पहली पारी में 435 बनाए थे। न्यूज़ीलैंड को इस तगड़े स्कोर तक पहुंचाने में अहम भूमिका रही जो रुट 153 (224) और हैरी ब्रूक 186 (176) की।
जवाब में न्यूज़ीलैंड अपनी पहली पारी में केवल 209 रन ही बना पाई। न्यूज़ीलैंड के इस आंकड़े को देख इंग्लैंड ने न्यूज़ीलैंड को फॉलो ऑन करने कहा। न्यूज़ीलैंड ने फॉलो ऑन कर इंग्लैंड के इस फैंसले को कड़ी टक्कर दी और 483 स्कोर कर इंग्लैंड को 258 रनों का टारगेट दिया। न्यूज़ीलैंड को यह स्कोर प्रदान कराने में मदद की केन विलियमसन 132 (282) ,डेवॉन कॉनवे 61 (155), टॉम लैथम 83 (172) , डेरिल मिचेल 54 (54) और टॉम ब्लंडेल 90 (166) ने।
इंग्लैंड के बल्लेबाजों ने इस टारगेट को पूरा करने की कोशिश तो बहुत की लेकिन एक रन से चूक गई। न्यूज़ीलैंड की इस जीत के साथ यह सीरीज टाई हुई। इतिहास में यह चौथी बार हुआ है जब टेस्ट मैच में एक टीम के द्वारा अपने खिलाफ खेलने वाली टीम को फॉलो ऑन दिया गया हो। 2001 के बाद ऐसा पहली बार हुआ है कि फॉलो ऑन के लिए मजबूर होने वाली टीम ने अपनी विरोधी टीम के आगे बड़ा लक्ष्य रख सफलता प्राप्त की है।
इस जीत को देख भारतीय फैंस को कोलकाता के ईडन गार्डन का वह मैच याद आया जब वीवीएस लक्ष्मण और भारतीय क्रिकेट टीम के वर्तमान कोच, राहुल द्रविड़ ने एक लम्बे समय तक खेलते हुए दमदार प्रदर्शन कर ऑस्ट्रेलिया को 171 रनों से हराया था। भारत ने ऑस्ट्रेलिया को अपने दूसरे टेस्ट मैच में हराकर तीन मैचों की उस टेस्ट सीरीज में बराबरी की थी और तीसरे मैच में भी ऑस्ट्रेलिया को दो विकटों से हराकर वह सीरीज अपने नाम करली थी।
भारत बनाम ऑस्ट्रेलिया, दूसरा मैच, ईडन गार्डन्स कोलकाता, 11 - 15 मार्च, 2001
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच तीन टेस्ट मैचों की श्रृंखला में ऑस्ट्रेलिया ने पहला मैच जीतकर बढ़त प्राप्त कर ली थी। कोलकाता के इडेन गार्डन में दूसरे मैच में ऑस्ट्रेलिया ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैंसला किया था। मैथ्यू हेडेन 97(157) और कप्तान स्टीव वॉघ 110 (203) की दमदार पारियों ने ऑस्ट्रेलिया को 445 जैसा विशाल स्कोर खड़ा करने में मदद की। ऑस्ट्रेलिया की इस बड़ी पारी के जवाब में भारत केवल 171 ही स्कोर कर पाया था।
भारत की इस कमज़ोर पारी को देख ऑस्ट्रेलिया ने भारत को फॉलो ऑन देने का फैंसला किया। ऑस्ट्रेलिया के इस फैंसले के जवाब में भारत ने अपनी दूसरी पारी में 657 जैसा महान स्कोर खड़ा कर ऑस्ट्रेलिया को 384 का टारगेट दिया जिसे ऑस्ट्रेलिया पूरा करने मे नाकामयाब रही। दुसरी पारी में 6 विकेट लेकर ऑस्ट्रेलिया की इस मजबूत बैटिंग लाइन अप को अस्थिर रखने का काम किया हरभजन सिंह ने। ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी में भी हरभजन ने कूल 7 विकेट चटकाए थे।
भारत को फॉलो ऑन देकर बैटिंग के लिए मजबूर करना ऑस्ट्रेलिया के लिए खूब भारी पड़ा। वीवीएस लक्ष्मण और वर्तमान क्रिकेट टीम के कोच राहुल द्रविड़ ने चुनौती स्वीकार की और पूरे दिन बल्लेबाजी कर ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों की हालत ढीली करदी थी। उस मैच का चौथा दिन ऐसा था जब ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों को भारत की और से एक भी विकेट न मिल सका था। वीवीएस और द्रविड़ ने शाम तक बल्लेबाजी कर 281 (452), 180 (353) बनाए थे। वह मैच भारतीय क्रिकेट के इतिहास में एक मील का पत्थर था।
हालांकि भारत- ऑस्ट्रेलिया और न्यूज़ीलेंड- इंग्लैंड के मैचों की जीत में काफी अंतर था। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ भारत ने वह टेस्ट मैच 171 रनों से जीता था वहीँ न्यूज़ीलैंड ने यह मैच सिर्फ एक रन के अंतर से जीता वह भी उस टीम के खिलाफ जो 1894 में फॉलोऑन के बाद टेस्ट मैच जीतने वाली पहली टीम बनी थी।