साउथेम्पटन। कोरोना वायरस महामारी के बीच इंग्लैंड और वेस्टइंडीज के बीच बुधवार से शुरू हो रही टेस्ट श्रृंखला के जरिए अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट बहाल होगा, जो भविष्य में क्रिकेट की दशा और दिशा भी तय करेगा।
क्रिकेट के सबसे पारंपरिक प्रारूप के जरिए खेल के नए युग का सूत्रपात होने जा रहा है। एक ऐसा युग, जिसमें मैदान पर खिलाड़ियों में जोश भरने वाले दर्शक नहीं होंगे, बॉल बॉय भी नहीं रहेंगे, खिलाड़ी गले भी नहीं मिल सकेंगे। हफ्ते में दो बार कोरोना जांच होगी और खिलाड़ी होटल से बाहर नहीं जा सकेंगे।
यह मार्च के बाद पहला टेस्ट मैच भी होगा। एजियास बाउल पर खेला जाने वाला यह मैच सिर्फ क्रिकेट ही नहीं, उससे इतर भी कारणों से खेल की इतिहास पुस्तिका में दर्ज हो जाएगा।
दर्शकों के बिना, बार-बार कोरोना वायरस जांच के बीच, सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करते हुए होने वाले ये मैच भविष्य में मैचों और दौरों का ब्लूप्रिंट भी तैयार करेंगे।
इंग्लैंड के कार्यवाहक कप्तान बेन स्टोक्स ने मंगलवार को प्रेस कांफ्रेंस में कहा, ‘इसमें एक भी चूक होने पर बहुत बड़ी समस्या खड़ी हो जाएगी। इससे खेल की बहाली पर आगे असर पड़ेगा।’
स्टोक्स ने कहा कि 4 महीने से लाइव क्रिकेट देखने को तरस रहे टीवी दर्शकों को मनोरंजन की सौगात देना भी दोनों टीमों की जिम्मेदारी होगी। दोनों टीमें मैच के दौरान ‘ब्लैक लाइव्स मैटर’ का लोगो अपनी कमीज की कॉलर पर लगाएंगी।
वेस्टइंडीज की टीम 9 जून से यहां है और खिलाड़ी पहले मैनचेस्टर में क्वारेंटाइन थे। उन्होंने टीम के भीतर ही दो मैच खेलकर अभ्यास किया। वेस्टइंडीज के कोच फिल सिमंस ने कहा, ‘हम दूसरे देशों के लिए क्रिकेट की बहाली की रूपरेखा तय करेंगे।’
उन्होंने कहा, ‘इस श्रृंखला की तैयारी के लिए इंग्लैंड और वेल्स क्रिकेट बोर्ड की तारीफ करनी होगी। देखते हैं कि दूसरे देश इससे क्या सीखते हैं।’ वेस्टइंडीज ने 1988 के बाद से इंग्लैंड में टेस्ट श्रृंखला नहीं जीती है लेकिन पिछले साल कैरेबियाई सरजमीं पर हुई विजडन श्रृंखला 2-1 से जीती थी।