इंदौर। भारतीय कप्तान विराट कोहली सहित दुनिया के कई शीर्ष खिलाड़ियों की आलोचना के बावजूद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) की क्रिकेट समिति मार्च में 4 दिवसीय टेस्ट के प्रस्ताव पर चर्चा करेगी।
खेल की संचालन संस्था की क्रिकेट समिति के प्रमुख पूर्व भारतीय कप्तान अनिल कुंबले ने बताया कि 27 से 31 मार्च तक दुबई में होने वाली आईसीसी की अगले दौर की बैठक में इस प्रस्ताव पर चर्चा होगी।
अनिल कुंबले ने कहा, ‘मैं समिति का हिस्सा हूं इसलिए मैं फिलहाल आपको नहीं बता सकता कि इसके बारे में मेरी सोच क्या है। हम बैठक में इस पर चर्चा करेंगे और आपको बताएंगे।’ एंड्रयू स्ट्रास, राहुल द्रविड़, माहेला जयवर्धने और शान पोलाक जैसे पूर्व खिलाड़ी भी क्रिकेट समिति में शामिल हैं।
यह प्रस्ताव 2023 से 2031 के सत्र के लिए रखा गया है लेकिन खेल के कई महान खिलाड़ियों ने इसकी आलोचना की है जिसमें कोहली, सचिन तेंदुलकर और रिकी पोंटिंग भी शामिल हैं।
इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के सदस्य बोर्ड हालांकि इस प्रस्ताव पर चर्चा के लिए तैयार हैं जबकि बीसीसीआई प्रमुख सौरव गांगुली ने कहा है कि इस बारे में बात करना अभी जल्दबाजी होगी।
गुवाहाटी में श्रीलंका के खिलाफ तीन टी20 मैचों की श्रृंखला के पहले मैच से पूर्व कोहली ने इस मुद्दे पर अपनी राय स्पष्ट कर दी थी। कोहली ने कहा था, ‘मेरे हिसाब से, इसमें कोई छेड़छाड़ नहीं की जानी चाहिए। जैसा कि मैंने कहा कि दिन-रात्रि मुकाबला टेस्ट क्रिकेट के व्यावसायीकरण की तरफ एक और कदम है। इसके लिए रोमांच पैदा करना अलग बात है लेकिन इसमें ज्यादा छेड़छाड़ नहीं की जा सकती।’
उन्होंने कहा, ‘आप सिर्फ दर्शकों की संख्या, मनोरंजन और ऐसी ही कुछ दूसरी बातें कर रहे हो। मुझे लगता है कि फिर आपका इरादा सही नहीं होगा क्योंकि फिर आप तीन दिवसीय टेस्ट की बात करोगे। मेरा मतलब है कि यह सब कहां खत्म होगा। फिर आप कहोगे कि टेस्ट क्रिकेट खत्म हो रहा है।’
ऑस्ट्रेलिया के शीर्ष स्पिनर नाथन लियोन ने भी इस प्रस्ताव को ‘बकवास’ करार दिया था जबकि पोंटिंग भी चार दिवसीय टेस्ट के पक्ष में नहीं हैं। हालांकि कुछ खिलाड़ी चार दिवसीय टेस्ट के पक्ष में भी हैं जिसमें शेन वार्न, मार्क टेलर और माइकल वान शामिल हैं।